नोटंबदी के बाद से ही पीएम नरेंद्र मोदी कैशलेस (नकदीरहित) अर्थव्यवस्था पर जोर दे रहे हैं और तमाम प्राइवेट कंपनियां व सरकारी संस्थान इसके लिए एक के बाद एक नए कदम उठा रहे हैं. ऐसे में पूर्वी सिंहभूम जिले के बदिया में अपने आप में एक अलग तरह की शादी संपन्न हुई. एक दूल्हे के घर में शौचालय के निर्माण के कुछ घंटों के भीतर ही मंदिर में उसकी कैशलेस शादी संपन्न करवा दी गई.
सोमवार को हुई शादी से पहले पश्चिम सिंहभूम जिले के चक्रधरपुर में इतिहास गांव की निवासी दुल्हन सुनीता और दूल्हे सुभाष नायक के परिवार के सदस्यों ने एक साथ मिल कर नायक के गांव बदिया में स्थित उनके घर में एक शौचालय के निर्माण कार्य में भागीदारी की. मुख्यमंत्री के यहां स्थित कैम्प ऑफिस में उप क्लेक्टर संजय कुमार ने बताया कि यह निर्माण कार्य रविवार देर रात शुरू हुआ और विवाह संपन्न होने से पहले यह बनकर तैयार हो गया.
दोनों परिवार को कैशलेस शादी के लिए मनाने वाले कुमार ने बताया कि विवाह के लिए टेंट हाउस से लेकर सब्जी खरीदने तक और किराने के सामान से लेकर जेवरात खरीदने तक सभी भुगतान कैशलेस किया गया. यहां तक कि शादी करने वाले पंडित को दक्षिणा और दंपति को उपहार भी ऑनलाइन या चेक के जरिए दिया गया.उन्होंने बताया कि पूरे देश में शुरू किये गये कैशलेस समाज का हिस्सा बन कर वर-वधु दोनों परिवार के सदस्यों सहित ग्रामीण भी खुश हैं. कुमार ने बताया कि नोटबंदी के बाद राज्य में अपनी तरह की शायद यह पहली शादी थी.
भाजपा विधायक (घाटसिला) लक्ष्मण टुडु, सर्कल अधिकारी (मुसाबोनी) साधुचरण देवगम, पुलिस उपाधीक्षक (मुसाबोनी) अजीत कुमार विमल, पर्यावरणविद जमुना टुडु और अन्य उपस्थित लोगों ने नव विवाहित दंपति को चेक से उपहार दिये. कुमार ने बताया कि शादी के बाद हाथों हाथ दंपति का एक संयुक्त खाता खोला गया और उन्हें एक एटीएम कार्ड भी सौंपा गया. उन्होंने बताया कि अनोखे कैशलेस शादी समारोह देखने के लिए लगभग पूरा गांव मौजूद था.