सरकार द्वारा बीमा और कोयला उत्खनन के क्षेत्र में महत्वपूर्ण सुधारों की गाड़ी आगे बढ़ाने की दिशा में की गई पहल के बीच वित्तमंत्री अरुण जेटली ने बुधवार को कहा कि यदि संसद का एक सदन 'अनिश्चित काल तक इंतजार करने लगे' तो देश उसकी प्रतीक्षा नहीं कर सकता।
भाजपा के मुख्य रणनीतिकार, जेटली ने संकेत दिया कि यदि अगले सत्र में राज्यसभा में बीमा विधेयक को फिर रोका जाता है तो सरकार संसद का संयुक्त-सत्र बुलाने की हद तक जा सकती है। फिलहाल गठबंधन के पास राज्यसभा में बहुमत नहीं है।
उन्होंने केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक के बाद कहा, 'बीमा अध्यादेश से सुधार के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता और दृढ़ता जाहिर होती है। यह निवेशकों समेत शेष दुनिया के लिए संदेश है कि यदि संसद का एक सदन अपना काम करने के मामले में अनिश्चित काल तक इंतजार करने लगे तो यह देश अधिक प्रतीक्षा नहीं कर सकता।'
मंत्रिमंडल ने बीमा क्षेत्र में एफडीआई 26 प्रतिशत से बढ़ाकर 49 प्रतिशत करने के अध्यादेश और कोयला खानों का आवंटन और नीलामी शुरू करने के लिए अध्यादेश फिर जारी करने को आज मंजूरी दी।
कल समाप्त हुए शीतकालीन सत्र के दौरान बीमा और कोयला विधेयकों पर राज्यसभा में चर्चा नहीं कराई जा सकी। राज्यसभा में धर्मांतरण और अन्य मुद्दों पर हंगामा होता रहा।
जेटली ने कहा कि गतिरोध और बाधा लंबे समय तक नहीं चल सकता। उन्होंने संकेत दिया है कि यदि बजट सत्र में फिर गतिरोध पैदा होता है तब सरकार संयुक्त सत्र भी बुला सकती है।
उन्होंने कहा 'यदि संसद को काम नहीं करने दिया जाता है तो हमारे संविधान निर्माताओं ने ऐसे प्रवाधान तय किए हैं कि इससे निर्णय-प्रक्रिया न रुके।' संयुक्त सत्र का हवाला दिए बगैर जेटली ने कहा 'यदि एक सदन विधेयक पारित नहीं करता तब भी एक प्रणाली है।'
ऐसे सत्र बुलाने की संभावना के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा 'आप संविधान क्यों नहीं पढ़ते? आप, लगता है जवाब जानते हैं।'
हाल ही में समाप्त शीतकालीन सत्र के एक दिन बाद ही अध्यादेश लाने की आवश्यकता के बारे में पूछे गए सवाल के जवाब में जेटली ने कहा 'बहुत देर हो चुकी है। इसीलिए आवश्यकता है।'
विपक्ष आरोप लगाता रहा है कि सरकार अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के मुख्य अतिथि के तौर पर गणतंत्र दिवस समारोह में हिस्सा लेने आने से पहले बीमा क्षेत्र में सुधार को आगे बढ़ाना चाहते हैं।
उन्होंने दावा किया कि नरेंद्र मोदी सरकार के शासन संभालने के बाद से बहुत सी अच्छी चीजें हुईं। उन्होंने कहा 'भाजपा ने अक्तूबर में दो राज्यों में चुनाव जीते जबकि दिसंबर में तीसरे राज्य में चुनाव जीता और एक अन्य राज्य (जम्म-कश्मीर) में अब तक की सबसे बड़ी संख्या में सीटें जीतीं।'
मजाकिया लहजे में आर्थिक पत्रकारों की जबान में उन्होंने कहा 'ऊपरी सदन की सदस्यता में बदलाव के रूप में क्रीपिंग (रेंगता) अधिग्रहण हो रहा है' और संकेत दिया कि इन राज्यों में विजय के साथ राज्यसभा में भाजपा की संख्या बढ़ेगी।