2017 से डिजिटल फॉर्मेट में जारी होंगे डिग्री, सर्टिफिकेट

2017 से डिजिटल फॉर्मेट में जारी होंगे डिग्री, सर्टिफिकेट

सरकार ने 2017 तक अकादमिक डिग्रियों, प्रमाणपत्रों, अवार्ड का प्रमाणीकरण कर डिजिटल प्रारूप में जारी करने और उनका सुरक्षित संग्रह सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता व्यक्त की है।

मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि राष्ट्रीय अकादमिक निक्षेपागार (एनएडी) की स्थापना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के डिजिटल इंडिया दृष्टिकोण के अनुरूप एक महत्वपूर्ण कदम है। वित्तीय प्रतिभूतियों को डी-मैट की प्रक्रिया बहुत पहले से शुरू हो चुकी है और इस तरह निवेशकों की वित्तीय स्थिति सुरक्षित हुई है। इस प्रणाली को अब शिक्षा के क्षेत्र में भी प्रयोग करने की पहल हो रही है। जावड़ेकर ने कहा कि अब समय आ गया है कि अकादमिक डिग्रियों, अवार्डों और प्रमाणपत्रों का प्रमाणीकरण भी डिजिटल स्तर पर किया जाए। संस्थानों को एनएडी प्रौद्योगिकी को अपनाकर उसे वास्तविकता में बदलना चाहिए।

उन्होंने सभी भागीदारों से आग्रह किया कि वे एनएडी का उपयोग का लक्ष्य 2017 तक पूरा कर लें। उन्होंने कहा कि प्रौद्योगिकी के कारण जीवन में तेजी से परिवर्तन हो रहा है और इस पहल से पारदर्शिता में वृद्धि होगी ।

मानव संसाधन विकास मंत्री ने कहा कि डिजिटल संग्रह में होने से शिक्षा संस्थानों, छात्रों और रोजगार प्रदाताओं को ऑनलाइन प्रमाणपत्र आदि जांचने की सुविधा होगी। इसके साथ ही धोखाधड़ी तथा जाली दस्तावेजों से छुटकारा मिलेगा। सभी हितधारकों को एनएडी की ऑनलाइन सुविधा 24 घंटे प्राप्त होगी।

 


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