अरुणाचल प्रदेश : नबाम तुकी की जगह पेमा खांडू बनेंगे नए मुख्यमंत्री

अरुणाचल प्रदेश : नबाम तुकी की जगह पेमा खांडू बनेंगे नए मुख्यमंत्री

पेमा खांडू...

खास बातें

  • पेमा खांडू को विधायक दल का नेता चुना गया
  • आज हो रही थी फ्लोर टेस्ट की बात
  • बागी विधायकों को मनाने के लिए कांग्रेस का नया फॉर्मुला
नई दिल्ली:

अरुणाचल प्रदेश में नाटकीय घटनाक्रम में कांग्रेस ने आज मुख्यमंत्री के लिए नबाम तुकी के स्थान पर पेमा खांडू को अपना नया नेता चुना जिन्होंने दो निर्दलीयों और 45 पार्टी विधायकों के समर्थन से सरकार बनाने का दावा पेश किया। तेजी से बदलते घटनाक्रम में खालिको पुल 30 बागी विधायकों के साथ पार्टी में लौट आए। पुल बागी होकर मुख्यमंत्री बने थे जिन्हें उच्चतम न्यायालय ने हाल ही में अपदस्थ कर दिया था।

विधानसभा में शक्ति परीक्षण से कुछ घंटे पहले कांग्रेस विधायक दल की बैठक हुई और विधायक दल ने पूर्व मुख्यमंत्री दिवंगत दोरजी खांडू के बेटे पेमा खांडू को सर्वसम्मति से अपना नेता चुन लिया। तुकी को राज्यपाल ने आज ही विश्वास मत हासिल करने को कहा था।

तुकी ने खांडू के नाम प्रस्तावित किया जिन्हें वहां मौजूद 44 विधायकों ने सर्वसम्मति से स्वीकार कर लिया। विधानसभा अध्यक्ष नबाम रेबिया बैठक में शामिल नहीं हुए जबकि पुल बागी विधायकों के साथ बैठक में पहुंचे ।

अरुणाचल प्रदेश की 60 सदस्यीय विधानसभा में अब कुल विधायकों की संख्या 58 है। कांग्रेस ने दो निर्दलीय विधायकों समेत 47 विधायकों के समर्थन किा दावा किया है। विधायक दल की बैठक से पहले तुकी ने राज्यपाल से भेंट की। उन्होंने उनके सामने पार्टी विधायक दल के प्रमुख एवं मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा देने की मंशा प्रकट की। उन्होंने उन्हें नए नेता के चुनाव के कांग्रेस के फैसले से भी अवगत कराया। उन्होंने खांडू की उपस्थिति में संवाददाताओं को बताया कि ऐसे घटनाक्रम में उन्होंने राज्यपाल से कहा कि वह शक्ति परीक्षण नहीं करेंगे।

खांडू ने भी मीडिया से कहा कि उन्होंने राज्यपाल के सामने 47 विधायकों के समर्थन के आधार पर सरकार बनाने का दावा पेश किया और उनसे कहा कि उन्हें शपथ दिलायी जाए।

उन्होंने बताया कि राज्यपाल ने उन्हें अब तक कोई वादा तो नहीं किया, लेकिन इतना जरूर कहा कि उन्हें रिकॉर्ड देखना होग और उनके दावे पर गौर करना होगा। पहले भी मंत्री रह चुके खांडू ने कहा, फिलहाल राज्यपाल ने (उनके दावे पर) कोई टिप्पणी नहीं की। शपथ ग्रहण के लिए भी कोई समय नहीं दिया गया है।

आज का घटनाक्रम अरुणाचल प्रदेश में कांग्रेस के लिए मनोबल बढ़ाने वाला है। अरुणाचल प्रदेश पिछले साल नवंबर से ही राजनीतिक दलदल में है जहां कांग्रेस की सरकार गिर गई और पुल की अगुवाई में नई सरकार बनी। पुल का बागियों एवं 11 भाजपा विधायकों ने समर्थन किया था। खांडू ने कहा, ‘‘अब कोई मतभेद नहीं है तथा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी एवं उपाध्यक्ष राहुल गांधी के हस्तक्षेप से पार्टी एकजुट है। ’’ तुकी खांडू के साथ राज्यपाल के पास गए और उन्होंने उन्हें अपना इस्तीफा सौंपा।

तुकी ने माना कि पार्टी में कुछ समस्या है लेकिन यह किसी भी परिवार में मतभेद जैसा है। उन्होंने कहा, पिछले कुछ दिनों में मुझसे बार-बार पूछा गया और मैं कहा करता था कि कांग्रेस अरुणाचल प्रदेश में मजबूत और एकजुट है। अब 60 विधायकों में 47 हमारे साथ हैं।

जब उनसे असम के मंत्री हिमंत विश्वास के इस बयान पर कि पूर्वोत्तर कांग्रेस मुक्त बनेगा, के बारे में पूछा गया तो उन्होंने तपाक से कहा, ‘‘कैसे लोकतंत्र में कोई नेता दूसरे दल को खत्म करने की बात कर सकता है। यह भाजपा की विपक्ष के प्रति असहिष्णुता दर्शाती है। ’’ विधायक दल के नेता चुने जाने पर खांडू ने कहा, ‘‘यह एक बड़ी चुनौती है क्योंकि आकांक्षाएं ऊंची हैं। ’’

(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)


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