आरएसएस के घृणास्पद और विभाजनकारी एजेंडे से लड़ना कभी नहीं छोड़ूंगा, अपने कहे हर शब्द पर कायम : राहुल गांधी

आरएसएस के घृणास्पद और विभाजनकारी एजेंडे से लड़ना कभी नहीं छोड़ूंगा, अपने कहे हर शब्द पर कायम : राहुल गांधी

एक सभा में बोलते हुए कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी (फाइल फोटो)

खास बातें

  • महात्मा गांधी की हत्या से जुड़े मामले में राहुल ने आरएसएस पर हमला किया था
  • महाराष्ट्र के भिवंडी में आरएसएस पदाधिकारी ने राहुल पर केस किया है
  • केस के खिलाफ राहुल सुप्रीम कोर्ट गए हैं, सुनवाई जारी है
नई दिल्ली:

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को कहा कि वह राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) को लेकर कहे गए अपने हर शब्द पर कायम हैं और वह उसके 'घृणास्पद और विभाजनकारी एजेंडे' से लड़ना कभी नहीं छोड़ेंगे. राहुल ने एक ट्वीट में कहा, "मैं आरएसएस के घृणास्पद और विभाजनकारी एजेंडे से लड़ना कभी नहीं छोड़ूंगा. मैं अपने कहे हर शब्द पर कायम हूं."

राहुल गांधी ने सर्वोच्च न्यायालय को बताया था कि उन्होंने यह नहीं कहा था कि आरएसएस बतौर एक संगठन महात्मा गांधी की हत्या में शामिल था बल्कि कहा था कि इससे जुड़े लोग हत्या में शामिल थे.

इससे पहले कल सुप्रीम कोर्ट ने कहा, हम मानते हैं कि राहुल गांधी ने कहा है कि उन्होंने महात्मा गांधी की हत्या के लिए RSS संस्थान को हत्यारा नहीं कहा था, सिर्फ जुड़े लोगों के लिए कहा था. ऐसे में RSS के लिए मानहानि वाली बात नहीं लगती. याचिकाकर्ता ने वक्त मांगा है. इस मामले की अगली सुनवाई सुप्रीम कोर्ट 1 सितंबर को करेगा.  

2014 में दर्ज हुआ था मुकदमा
दरअसल 2014 में महात्मा गांधी की हत्या का आरोप कथित रूप से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ पर लगाने के संबंध में राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का यह मामला दाखिल किया गया था. संघ की भिवंडी इकाई के सचिव राजेश कुंटे ने आरोप लगाया था कि राहुल गांधी ने सोनाले में 6 मार्च 2014 को एक चुनावी रैली में कहा था कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने गांधी जी की हत्या की. कुंटे ने कहा कि कांग्रेस केनेता ने अपने भाषण के जरिए संघ की प्रतिष्ठा को चोट पहुंचाने की कोशिश की.

संघ ने दूसरे लोगों के खिलाफ मानहानि का मामला क्यों नहीं दर्ज कराया :कांग्रेस
कांग्रेस ने आज कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने उन लोगों के खिलाफ मानहानि के मामले क्यों नहीं दर्ज कराए जिन्होंने राहुल गांधी की तरह कहा है कि महात्मा गांधी की हत्या के लिए संघ से जुड़े लोग जिम्मेदार हैं. इस मामले में उच्चतम न्यायालय में राहुल का बचाव कर रहे वरिष्ठ वकील और कांग्रेस प्रवक्ता कपिल सिब्बल ने संघ से पूछा कि उसने नाथूराम गोडसे के भाई गोपाल के खिलाफ मामला क्यों नहीं दर्ज कराया जिन्होंने कहा था कि नाथूराम समेत सभी चारों भाई संघ में थे.


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