यह ख़बर 24 अगस्त, 2011 को प्रकाशित हुई थी

सुप्रीम कोर्ट ने जगन की याचिका खारिज की

खास बातें

  • न्यायमूर्ति दलवीर भंडारी की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा, उच्च न्यायालय के आदेश में किसी प्रकार के हस्तक्षेप की जरूरत नहीं है।
नई दिल्ली:

उच्चतम न्यायालय ने अर्जित आय से अधिक संपत्ति इकट्ठा करने के मामले में सीबीआई जांच संबंधी आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ पूर्व कांग्रेसी नेता वाई एस जगनमोहन रेड्डी की याचिका खारिज कर दी। न्यायमूर्ति दलवीर भंडारी की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा, उच्च न्यायालय के आदेश में किसी प्रकार के हस्तक्षेप की जरूरत नहीं है। पूर्व मुख्यमंत्री वाई एस राजशेखर रेड्डी के पुत्र जगन ने इससे पहले उच्च न्यायालय के दस अगस्त को दिये आदेश के खिलाफ न्यायालय की शरण लेते हुए कहा था कि यह वाजिब फैसला नहीं है। उच्च न्यायालय ने अपने फैसले में सीबीआई को निर्देश दिया था कि वह इस मामले को तार्किक निष्कर्ष तक पहुंचाने के लिए इसकी जांच करे। उच्चतम न्यायालय का यह निर्देश राज्य के हथकरघा और कपड़ा मंत्री पी शंकर राव की याचिका पर दिया गया जिन्होंने आरोप लगाया था कि जगन की आय 2004 में 11 लाख थी जो उनके पिता की मृत्यु के समय 2009 में बढ़कर 43,000 करोड़ रूपये हो गई। 


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