'गंगा की कसम खाकर बोलें', बिजली वाली टिप्पणी पर पीएम मोदी को अखिलेश ने दी चुनौती

'गंगा की कसम खाकर बोलें', बिजली वाली टिप्पणी पर पीएम मोदी को अखिलेश ने दी चुनौती

अखिलेश ने कहा कि सपा ने प्रदेश में अपने पांच साल के कार्यकाल में सबको साथ लेकर चलने का काम किया है

खास बातें

  • 'गलतबयानी करके जनता में अपना भरोसा खा चुके हैं मोदी'
  • 'लोकतंत्र में जो जनता को दुख देता है, ऐसे लोगों को जनता सजा देती है'
  • 'रेडियो पर 'मन की बात' आती है, लेकिन कोई मोदी के मन की बात नहीं समझ पाया'
रायबरेली / अमेठी:

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने रमजान के साथ-साथ दीवाली में भी बिजली देने संबंधी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि काशी जैसी पवित्र नगरी से चुने गए मोदी गलतबयानी करके जनता में अपना भरोसा खो चुके हैं. अखिलेश ने रायबरेली के ऊंचाहार विधानसभा क्षेत्र से सपा प्रत्याशी मनोज पाण्डेय के समर्थन में आयोजित चुनावी सभा में कहा, 'हम मानते हैं कि अगर गांव का गरीब किसान गंगा की तरफ हाथ करके कसम खाता है तो सच ही बोलता है. बताओ, जिसको काशी ने चुनकर भेजा है, हमें उस पर कितना भरोसा करना चाहिए.'

गौरतलब है कि पीएम मोदी ने रविवार को फतेहपुर में आयोजित चुनावी रैली में कहा था कि प्रदेश की सपा सरकार हर काम में भेदभाव करती है. अगर वह रमजान में 24 घंटे बिजली देती है, तो उसे दीवाली में भी बिजली देनी चाहिए. अखिलेश ने पीएम के बयान पर कहा, 'देश के प्रधानमंत्री यह क्या कहकर चले गए. उन्होंने कहा कि हम रमजान पर 24 घंटे बिजली देते हैं और दीवाली में नहीं. मोदी को पता नहीं है, वह सच बोलें. वाराणसी के सबसे बुजुर्ग विधायक हमारे दादा श्यामदेव चौधरी जी के कहने पर हमने काशी में 24 घंटे बिजली दी थी. हम प्रधानमंत्री से कहेंगे कि आप गंगा मैया के बेटे हैं तो उसकी कसम खाएं, और खुद से पूछें कि सपा वाराणसी में 24 घंटे बिजली दे रही है या नहीं.'

अखिलेश ने कहा, 'मोदी जी काशी के लोगों ने आपको चुनकर भेजा है. आप दीवापली और रमजान की बात बाद में करिएगा. आपने न जाने कितनी और कैसी बातें कर दी हैं. अब देश के प्रधानमंत्री पर कोई भरोसा नहीं कर रहा है. हम कहते हैं कि अगर एक भी काम भाजपा ने किया हो तो बताओ.'

मुख्यमंत्री ने कहा कि मोदी प्रदेश में भाजपा की सरकार बनने पर किसानों का कर्ज माफ करने की बात कर रहे हैं. अगर वह कर्ज माफ करना चाहते हैं तो पहले भाजपा शासित छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और झारखंड के किसानों का कर्ज माफ करें. अखिलेश ने मोदी सरकार को नोटबंदी के फैसले पर घेरते हुए कहा कि लोकतंत्र में जो जनता को दुख देता है, समय आने पर ऐसे लोगों को जनता सजा देती है.

उन्होंने कहा कि रेडियो पर 'मन की बात' आती है, लेकिन कोई भी मोदी के मन की बात नहीं समझ पाया. मुख्यमंत्री ने अपने चुनाव घोषणापत्र में किए गए वादों का जिक्र किया और कहा कि सपा ने प्रदेश में अपने पांच साल के कार्यकाल में सबको साथ लेकर चलने का काम किया है. उन्होंने लोगों से कहा, हम तो हवा के खिलाफ भी साइकिल चला लेते हैं. तेज हवा के विपरीत भी हमारा किसान साइकिल चला लेता है, सोचो अगर हवा पक्ष में हो तो साइकिल कितनी तेज चलेगी. पहले, दूसरे और तीसरे चरण में सपा की हवा चली है. इसे आगे बढ़ाना आपकी जिम्मेदारी है. (इनपुट भाषा से)


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