बिहार विधानसभा चुनाव में सीटों के बंटवारे को लेकर एनडीए में बेचैनी का माहौल

बिहार विधानसभा चुनाव में सीटों के बंटवारे को लेकर एनडीए में बेचैनी का माहौल

जीतनराम मांझी, रामविलास पासवान और अमित शाह (फाइल फोटो)

नई दिल्ली:

एनडीए के भीतर सीटों के बंटवारे को लेकर बेचैनी बढ़ती जा रही है। सहयोगियों को अंदेशा है कि बीजेपी उन्हें कम सीटें न दे डाले। एनडीटीवी इंडिया से बात करते हुए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा के अध्यक्ष जीतनराम मांझी ने अपनी सीटें गिना भी दीं। शुक्रवार को भी घटक दलों में बैठकों का कई दौर चला, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला।

शुक्रवार को सुबह राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के प्रधान महासचिव शिवराज सिंह बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह से मिले। आधे घंटे की मुलाकात के बाद बाहर आकर शिवराज सिंह ने कहा, 'अमित शाह ने कहा कि अगले कुछ ही घंटों में एनडीए में सीटों के बंटवारे पर फैसला हो जाएगा, हालांकि सीटों पर हुए समझौते की घोषणा करने में थोड़ा वक्त जरूर लग सकता है।'  

मगर यह उम्मीद अभी तक हिचकोले खाती लग रही है। शिवराज सिंह की अमित शाह के साथ बैठक के कुछ ही मिनटों बाद बिहार बीजेपी के प्रभारी भूपेंद्र यादव ने लोक जन शक्ति पार्टी के अध्यक्ष रामविलास पासवान से उनके घर पर एक घंटे तक बात की। जब बाहर निकले तो बताने को बस एक बहाना मिला, कहा बिहार इलेक्शन इंचार्ज अनंत कुमार बेंगलुरु में हैं और उनके दिल्ली लौटने के बाद ही आधिकारिक तौर पर कुछ कहना संभव होगा।

शाम होते-होते एनडीटीवी इंडिया से बात करते हुए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने साफ कर दिया कि उनके 15 लोगों की सीटें नहीं कटनी चाहिए। मांझी ने कहा, 'हमारी यह शर्त रही है, हमारे 13 विधायक हैं और 2 एमएलसी हैं, जो अपनी-अपनी सीटों पर मजबूत हैं। इन सभी 15 नेताओं को टिकट मिलना चाहिए।'

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राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा ने भी पार्टी नेताओं के साथ अहम बैठक के बाद कहा कि टिकटों के बंटवारे के सवाल पर बीजेपी उदारता दिखाए। गुरुवार को ही दो सहयोगी दलों ने सीटों का बंटवारा अमित शाह पर छोड़ने का ऐलान किया था, लेकिन अब यह साफ होता जा रहा है कि कोई अपना हिस्सा छोड़ने को तैयार नहीं है।