बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (फाइल फोटो)
बिहार में जब चुनाव हो रहा था, तब विपक्ष ने ये मुद्दा बनाया कि नीतीश-लालू की जीत से जंगलराज की वापसी होगी। बिहार की जनता ने बीजेपी के मुद्दे को नकार दिया और जीत नीतीश-लालू को दी, जिसमें लालू की कामयाबी नीतीश से बेहतर थी।
अब सवाल फिर उठने लगे हैं कि क्या बिहार में जंगलराज की वापसी हो रही है या ऐसा कहना अभी बहुत जल्दबाजी होगी? बीते दिनों दो इंजीनियरों की हत्या का मामला अभी सुलझा भी नहीं था कि एक और इंजीनियर की हत्या इस बात का गवाह बन गई कि राज्य में अपराधियों के दिलों में कानून-व्यवस्था का खौफ खत्म होता जा रहा है।
एक तरफ नीतीश की अगुवाई में बिहार की तस्वीर बदलने की बात होती है, कारोबार लगाने और विकास के वादे होते हैं, लेकिन अगर सड़कें बनवा रहे इंजीनियर मारे जाने लगें तो नीतीश सरकार वहां कितने निवेशकों को खींचने में कामयाब रहेगी, इसका अंदाजा लगाना मुश्किल नहीं। खासकर जब सरकार बनने से पहले ही जंगलराज वापसी की आशंका जतायी जाती रही हो, तो ऐसे में नीतीश के सामने चुनौती और भी बड़ी हो जाती है।
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