सार्वजनिक क्षेत्र की विमानन कंपनी एयर इंडिया के विनिवेश की चर्चा के बीच नागर विमानन मंत्री अशोक गजपति राजू ने आज कहा कि वह नहीं चाहते कि इस राष्ट्रीय कंपनी का हश्र भी ‘किंगफिशर एयरलाइंस’ की तरह हो और लोगों की नौकरियां जाएं. उल्लेखनीय है कि एयर इंडिया लंबे से समय से वित्तीय संकट से जूझ रही है. यह ऋण के बोझ तले दबी है और करदाताओं के पैसे पर चल रही है. हालांकि 2015-16 में इसने 105 करोड़ रुपये का परिचालनात्मक लाभ कमाया था.
राजू समेत अन्य मंत्रियों को लेकर बनाया गया एक मंत्री समूह फिलहाल इसके विनिवेश के तौर-तरीकों पर विचार कर रहा है.
राजू ने कहा, ‘‘हमने कोई समयसीमा नहीं तय की है. हमने स्वयं के लिए ही संकेत तय किए हैं और हमें उम्मीद है कि हम इस पर टिके रहेंगे.’’
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यह पूछे जाने पर कि क्या कंपनी के कर्मचारियों के लिए स्वैच्छिक सेवानिवृत्त योजना लाएगी के जवाब में राजू ने कहा कि निजी तौर पर वह चाहते हैं कि एयरइंडिया गतिमान बनी रहे और यह ‘किंगफिशर एयरलाइंस’ के नक्शे कदम पर ना जाए जहां सब घर चले गए और किसी के पास कोई रोजगार ना बचे. (भाषा की रिपोर्ट)