केंद्र सरकार की ओर से गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स बिल को आज लोकसभा में पेश किया, जिसके विरोध में पूरे विपक्ष ने वॉक आउट किया। सरकार की ओर से वित्तमंत्री अरुण जेटली ने इसे लोकसभा के पटल पर रखा।
कांग्रेस ने मांग की इस चर्चा और वोटिंग से पहले बिल को पार्लियामेंट्री कमेटी के पास बदलावों की समीक्षा के लिए भेजना चाहिए।
नरेंद्र मोदी सरकार के सुधार एजेंडे के लिए जीएसटी बेहद महत्वपूर्ण है। वह इसे जल्दी ही संसद से पारित करवाना चाहती है ताकि यह अगले साल 1 अप्रैल से लागू हो सके। सरकार चाहती थी इस मुद्दे पर आज और सोमवार को चर्चा हो जाए और उसी दिन वोटिंग भी।
बिल को पास कराने के लिए सरकार को लोकसभा में दो तिहाई बहुमत की जरूरत है। इससे पहले वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बुधवार को राज्यों के वित्त मंत्रियों के साथ बैठक कर जीएसटी पर चर्चा की थी। इस बैठक के दौरान तमिलनाडु को छोड़कर अन्य सभी राज्यों ने अपनी सहमति दे दी है।
सरकार की ओर से 1 अप्रैल 2016 तक देश में जीएसटी को लागू करने का लक्ष्य रखा गया है। वित्तमंत्री जेटली के मुताबिक, जीएसटी लागू होने से देश की जीडीपी में 1 से 2 फीसदी की बढ़ोतरी होगी।