किंगफिशर एयरलाइंस के चेयरमैन विजय माल्या ने 2011-12 में एयरलाइन के कर्ज और उसकी अन्य देनदारियों के लिए कुल 5,904 करोड़ रुपये की गारंटी दी। हालांकि, बैंकों के विरोध के कारण उन्हें इसके एवज में कोई कमीशन नहीं मिला।
हालांकि माल्या द्वारा दी गई गारंटी इससे पिछले साल 2010-11 की तुलना में कम रही है। इससे पिछले साल माल्या ने 6,156 करोड़ रुपये की गारंटी दी थी। वहीं किंगफिशर और उसकी सहायक कंपनियों द्वारा दी गई गारंटी बढ़कर 8,926 करोड़ रुपये पर पहुंच गई, जो इससे पिछले साल 8,863 करोड़ रुपये थी।
माल्या को 2010-11 में गारंटी के लिए 51 करोड़ रुपये का कमीशन मिला था, लेकिन एयरलाइन ने कहा कि ऋणदाता बैंकों के समूह के निर्देशों के बाद इसे वापस ले लिया गया।
एयरलाइन के शेयरधारकों को भेजी गई 2011-12 की सालाना रिपोर्ट के अनुसार एयरलाइन ने वित्त वर्ष के दौरान माल्या को कोई भुगतान नहीं किया। किंगफिशर की सालाना आम बैठक 26 सितंबर को होने जा रही है।
हालांकि, इस दौरान कंपनी के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) संजय अग्रवाल को किया गया भुगतान दोगुना होकर 4.01 करोड़ रुपये पर पहुंच गया, जो इससे पिछले साल 2.12 करोड़ रुपये था। इसी तरह कंपनी ने अपने कर्मचारियों को वेतन आदि के लिए कुल 669.5 करोड़ रुपये का भुगतान किया। कर्मचारियों की संख्या घटने की वजह से यह इससे पिछले वित्त वर्ष के मुकाबले एक फीसदी कम है।
किंगफिशर ने कहा है कि पिछले वित्त वर्ष में उसके कर्मचारियों की संख्या 22 प्रतिशत यानी 1,651 घटकर 5,696 रह गई। इस दौरान एयरलाइन अपने मानव संसाधन के बेहतर इस्तेमाल के लिए कार्य करती रही।