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रुपये की कीमत कब सुधरेगी, अनुमान लगाना मुश्किल है : सुब्बाराव

वैश्विक कारकों को रुपये की कीमत में गिरावट की वजह बताते हुए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गर्वनर डी सुब्बाराव ने गुरुवार को कहा कि यह अनुमान लगाना मुश्किल है कि भारतीय मुद्रा के मूल्य में कब तक सुधार होगा।
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NDTV Profit हिंदी07:55 PM IST, 11 Jul 2013NDTV Profit हिंदी
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वैश्विक कारकों को रुपये की कीमत में गिरावट की वजह बताते हुए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गर्वनर डी सुब्बाराव ने गुरुवार को कहा कि यह अनुमान लगाना मुश्किल है कि भारतीय मुद्रा के मूल्य में कब तक सुधार होगा।

इंदौर से करीब 60 किलोमीटर दूर खुर्दा गांव में आरबीआई के वित्तीय साक्षरता और समावेशन कार्यक्रम के बाद संवाददाताओं ने जब सुब्बाराव से पूछा कि रुपये की कीमत में कब तक सुधार होने का अनुमान है, तो उन्होंने जवाब दिया, ‘यह कहना मुश्किल है। पिछले छह हफ्तों से रुपये की कीमत वैश्विक कारकों के चलते गिर रही है। यह भी सच है कि हमारा चालू खाता घाटा ऊंचे स्तर पर रहा है।’

उन्होंने कहा, ‘हमें यह भी स्वीकार करना होगा कि पिछले दिनों कई वैश्विक घटनाक्रम हुए, जिनसे भारत समेत कई उभरते देशों की मुद्राओं के विनिमय दरों में तेज उठापटक हुई है।’

सुब्बाराव ने कहा, ‘कहना मुश्किल है कि यह असर कब तक बरकरार रहेगा, क्योंकि ये कारक हमारे नियंत्रण से बाहर हैं।’

देश में सोने के आयात के कायदे कड़े किए जाने और इसके आयात पर शुल्क बढ़ाने से इस पीली धातु की तस्करी बढ़ने के खतरे के सवाल पर आरबीआई गवर्नर ने कहा, ‘जाहिर तौर पर सरकार विश्वस्त है कि वह सोने की तस्करी पर अंकुश लगा सकती है और इस धातु के आयात पर शुल्क बढ़ाकर इसे (आयात को) नियंत्रित कर सकती है।’ देश में नए बैंक खोलने के लिए सरकारी और निजी क्षेत्र की दिग्गज कम्पनियों के आवेदनों पर सुब्बाराव ने कहा, ‘हम कायदों के मुताबिक इन आवेदनों का मूल्यांकन करेंगे। हो सकता है कि सभी योग्य आवेदकों को बैंक खोलने के लायसेंस मिलना संभव न हो।’

पिछले तीन महीनों में रुपये में करीब नौ प्रतिशत की गिरावट आई है और यह इसी सप्ताह 61.21 प्रति डॉलर के रिकॉर्ड निचले स्तर तक चला गया था। हालांकि, अमेरिकी फेडरल रिजर्व के प्रमुख बेन बर्नान्के के इस बयान के बाद कि अमेरिका में मौद्रिक प्रात्साहनों को अभी जारी रखने की जरूरत है, रुपये में सुधार हुआ है। पिछले वित्त वर्ष में कैड सकल घरेलू उत्पाद के रिकॉर्ड उच्च स्तर 4.8 प्रतिशत पर पहुंच गया।

खुर्दा गांव के कार्यक्रम में सुब्बाराव ने कहा कि केंद्रीय बैंक महंगाई पर नियंत्रण को प्रमुख प्राथमिकता देगा, जो अभी भी ऊंची बनी हुई है।

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