दिल्ली: अगर स्कूल में दिखी अनुशासनहीनता, तो प्रिंसिपल की खैर नहीं

दिल्ली: अगर स्कूल में दिखी अनुशासनहीनता, तो प्रिंसिपल की खैर नहीं

नयी दिल्ली:

टीचर्स क्लास ले रहे हैं या नहीं, स्कूल में वह उपस्थित हैं या नहीं, ये सब देखना अब स्कूल प्रिंसिपल की जिम्मेदारी होगी. टीचरों की हाजिरी में गड़बड़ियों को रोकने और कक्षाएं चलाने के समय में पाबंदी बनाए रखने के लिए दिल्ली सरकार ने स्कूल के प्रिंसिपलों की जिम्मेदारी तय करने का फैसला किया है. यानी स्कूल के अनुशासन के लिए अब पूरी तरह से स्कूल के प्रिंसिपल ही जिम्मेदार होंगे. 

एक सीनियर ऑफिसर ने बताया कि अगर सरकारी स्कूलों में अनुशासन बनाकर नहीं रखा जाएगा तो प्रिंसिपलों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

औचक निरीक्षण के दौरान देखी जा रही थी अनुशासनहीनता
यह कदम तब आया है जब उपमुख्यमंत्री एवं शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने विभिन्न सरकारी स्कूलों में औचक निरीक्षण के दौरान पाया कि कई कक्षाएं में शिक्षकों ही नहीं थे और छात्र गलियारों में तथा स्कूल भवन के बाहर घूम रहे थे.


शिक्षा निदेशालय के एक सीनियर ऑफिसर ने बताया कि औचक निरीक्षणों ने तकरीबन सभी स्कूलों में अनुशासन की कमी से पर्दा उठा दिया. सभी  प्रिंसिपलों को निर्देश दिया गया है कि कोई भी कक्षा बिना छात्रों के ना हो और इस पर भी नजर रखी जाए कि कक्षाओं में शिक्षक समय के पाबंदी हैं या नहीं.

स्कूल इंस्पेक्शन एप्लीकेशन पर अपलोड की जाएगी रिपोर्ट
सरकार ने निरीक्षण दल गठित किए हैं जिनमें स्कूल प्रबंध समितियों के सदस्य शामिल है जो स्कूलों का निरीक्षण करेंगे और इसकी रिपोर्ट स्कूल इंस्पेक्शन एप्लीकेशन पर अपलोड करेंगे. सिसोदिया के कार्यालय की इस एप्लीकेशन तक सीधे पहुंच होगी.
अधिकारी ने कहा कि साफ-सफाई, कक्षाओं में शिक्षकों और छात्रों की उपस्थिति सुनिश्चित करने में नाकाम रहने वाले स्कूलों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.

न्यूज एजेंसी भाषा से इनपुट

Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com