CSK vs MI: चेन्नई ने इस मैच में वॉटसन सहित कई खिलाड़ियों को बदला
खास बातें
- विकेटों का बुरी तरह पतन देखिए!
- कुछ ऐसे लुट गयी चेन्नी सुपर किंग्स !
- न सीनियर टिक सके, न जूनियरों ने फायदा उठाया!
इंडियन प्रीमियर लीग (IPL 2020) में शुक्रवार को वह रूप देखने को मिला, जो टूर्नामेंट के इतिहास में यदा-कदा ही देखने को मिला है. और एमएस धोनी (MS Dhoni) की चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) के साथ तो शायद ही कभी ऐसा देखने को मिला. प्रशंसक उम्मीद कर रहे थे मुंबई इंडियंस (MI) के खिलाफ इस मुकाबले में नए बदलाव के साथ चेन्नई (CSK) का सुधरा हुआ रूप देखने को मिलेगा और मौका पाने वाले खिलाड़ी फायदा उठाएंगे. लेकिन युवा तो छोड़िए, वरिष्ठों की भी बत्ती गुल हो गई. हाल इतना खराब रहा कि पावर-प्ले के छह ओवर खत्म होने से पहले ही चेन्नई के शीर्ष 5 बल्लेबाज सिर्फ 31 रन के योग पर पवेलियन लौट गए. न तो फैफ डु प्लेसी ही चले, तो जरूरत के समय पर नाकामी का सिलसिला एमएस धोनी (MS Dhoni) का भी जारी रहा और यहां से उनकी आलोचना का स्तर और ऊंचा होने जा रहा है.
मुंबई के लेफ्टी बॉलर ट्रेंट बोल्ट ने रितुराज गायकवाड को पहले ही ओवर में पवेलियन भेजकर शुरुआत की, तो फिर ऐसा सिलसिला शुरू हुआ कि चेन्नई के फैंस को एक बार को भरोसा ही नहीं हुआ कि ये आखिर हो क्या रहा है. वास्तव में आईपीएल के पिछले करीब 12 साल के इतिहास में सिर्फ दूसरी बार ही ऐसा हुआ, जब किसी टीम ने अपने शीर्ष चार बल्लेबाज इतने कम स्कोर पर गंवा दिए.
इससे पहले किंग खान की केकेआर ने साल 2011 में डेकन के खिलाफ कोच्चि में उसके 2 रन पर चार विकेट गिरे थे. साल 2011 के बाद अब ऐसा हुआ कि जब चेन्नई ने चार विकेट सिर्फ 3 रन के योग पर गंवा दिए. चेन्नई के साथ इस तरह का हादसा पहली बार हुआ, जो टूर्नामेंट की शुरुआत से ही मुसीबतों की मारी चल रही है.
रितुराज और जगदीशन जैसे युवाओं के पास यह मैच अच्छा मौका था प्रभावित करने का, लेकिन दोनों ने ही इस मौके को जाया कर दिया.
हालत पतली होने के बावजूद रवींद्र जडेजा ने विकेट पर टिकने की जगह स्ट्रोक को वरीयता दी
जरूरत के समय एमएस धोनी की नाकामी का सिलसिला जारी रहा.
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