इंग्लैंड के ऑलराउंडर बेन स्टोक्स ने लॉर्ड्स वनडे में घटी घटना के बारे में कहा है कि उनका इरादा मिशेल स्टार्क के थ्रो से खुद को बचाना था। स्टोक्स ने स्टार्क के थ्रो से बचने के लिए बाएं ग्लव से गेंद को धकेल दिया था, जिसके बाद ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ियों की अपील पर उनको क्षेत्ररक्षण में बाधा पहुंचाने के लिए आउट करार दिया गया था।
इस मसले पर बेन स्टोक्स ने ईएसपीएन क्रिकइंफो से कहा है, 'गेंद मुझसे पांच फीट की दूरी पर ही थी। मैंने जो भी किया वो एक प्रतिक्रिया भर थी। मैंने किसी और नीयत से गेंद को हाथ नहीं लगाया था। यह खुद को बचाने के लिए मानवीय प्रतिक्रिया मात्र थी, लेकिन फैसला हो चुका है और मैं उसमें कुछ नहीं कर सकता।'
स्टोक्स क्षेत्ररक्षण में बाधा पहुंचाने की अपील पर आउट होने वाले वनडे इतिहास में छठे बल्लेबाज हैं। हालांकि उनको आउट दिए जाने के फैसले की काफी आलोचना हो रही है। पूर्व इंग्लिश कप्तान माइकल वॉन, एलेक स्टीवर्ट और पॉल कॉलिंगवुड ने इस फैसले की आलोचना की है।
गौरतलब है कि कॉलिंगवुड खुद न्यूजीलैंड में साल 2008 में एक विवाद में शामिल रह चुके हैं, जब उन्होंने 2008 में ग्रांट इलिएट के रेयान साइडबॉटम से टकराने के चलते रन आउट होने पर वापस बुलाने से इनकार कर दिया था। बाद में उन्होंने माना था कि उनसे गलती हुई।
कॉलिंगवुड ने ट्वीट किया है कि ऑस्ट्रेलियाई कप्तान स्टीवन स्मिथ को भी आने वाले दिनों में अपनी गलती पर पछतावा होगा।
स्टोक्स को मैच के दौरान थर्ड अंपायर जोएल विल्सन ने आउट करार दिया था। उस वक्त उनके साथ इंग्लिश कप्तान ऑइन मोर्गन खेल रहे थे। मोर्गन ने बाद में कहा कि अगर उनकी टीम फील्डिंग कर रही होती, तो वे अपील वापस ले लेते। हालांकि स्टीवन स्मिथ का मानना है कि अंपायरों का फैसला सही था।
इससे पूरे विवाद का असर ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के बीच सीरीज के बाकी तीन वनडे मैचों पर पड़ने की आशंका है। सीरीज का तीसरा वनडे मंगलवार को मैनचेस्टर में होगा।