Assembly Election 2018: ताबड़तोड़ रैलियों के बाद अब जनता की बारी, राजस्थान और तेलंगाना में वोटिंग आज, 10 बातें

विधानसभा चुनाव (Assembly Election 2018) में राजस्थान की 200 और तेलंगाना की 119 सीटों के लिए आज वोटिंग है.

Assembly Election 2018: ताबड़तोड़ रैलियों के बाद अब जनता की बारी, राजस्थान और तेलंगाना में वोटिंग आज, 10 बातें

प्रतीकात्मक तस्वीर

नई दिल्ली: विधानसभा चुनाव 2019 में राजस्थान की 200 और तेलंगाना की 119 सीटों के लिए आज वोटिंग है. राजस्थान विधानसभा चुनाव भारतीय जनता पार्टी के लिए काफी अहम है, क्योंकि यहां बीजेपी के लिए सत्ता बचाने की चुनौती है. वहीं कांग्रेस के लिए 2019 लोकसभा चुनाव से पहले जीत हासिल कर पटरी पर लौटने का मौका है. मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे जीत की उम्मीद लगाए बैठी हैं और उनका दावा है कि फिर से बीजेपी की वहां जीत होगी. उधर, तेलंगाना में मुख्यमंत्री केसीआर यानी के चंद्रशेखर राव के लिए दोहरी मुसीबत है. इस बार उनके सामने कांग्रेस और टीडीपी साथ-साथ है. टीआरएस के सामने कांग्रेस और चंद्रबाबू नायडू ही नहीं, बल्कि बीजेपी भी है. राजस्थान में आज 199 सीटों पर वोटिंग हो रही है, वहीं तेलंगाना की पूरे 119 सीटों पर. पांचों राज्यों में हो रहे चुनाव के परिणामों का ऐलान 11 दिसंबर को होगा. हालांकि, आज हो रही वोटिंग के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. 

राजस्थान और तेलंगाना चुनाव से जुड़ी 10 बातें

  1. राजस्थान (Rajasthan Assembly Election 2018) में कांग्रेस को उम्मीद है कि वह सत्ता  में इस बार आ जाएगी क्योंकि वसुंधरा राजे की सरकार राज्य में एंटी इनकंबेंसी का शिकार हो सकती है. फरवरी में हुए उपचुनाव में कांग्रेस ने अजमेर और अलवर लोकसभा सीट बीजेपी से छीनी थी और मंडलगढ़ विधानसभा में भी जीत का परचम लहराया था. 

  2. राजस्थान में भाजपा और कांग्रेस के बीच काफी कड़ा मुकाबला है, यहां लोगों ने गत 20 वर्षो से एक कार्यकाल के बाद उसी पार्टी को दोबारा सत्ता में नहीं बिठाया है, वहीं तेलंगाना में टीआरएस अपने दूसरे कार्यकाल के लिए कांग्रेस नीत पीपुल्स फ्रंट की चुनौतियों का सामना कर रही है. 

  3. तेलंगाना (Telangana Assembly Election 2018) और राजस्थान दोनों राज्यों और तीन अन्य राज्यों के चुनाव परिणाम इस ओर संकेत दे सकते हैं कि आगामी वर्ष होने वाले आम चुनाव से पहले हवा का रुख किसकी ओर है. 

  4. 200 सदस्यीय राजस्थान विधानसभा के लिए मुख्य मुकाबला भाजपा और कांग्रेस के बीच है, लेकिन कई जगह पर मुकाबले के त्रिपक्षीय हो जाने की संभावना है. 119 सदस्यीय तेलंगाना में कांग्रेस ने तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा), मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) और तेलंगाना जन समिति(टीजेएस) के साथ गठबंधन किया है और टीआरएस को टक्कर देने के लिए तैयार है. 

  5. राजस्थान में भाजपा सत्ता विरोधी लहर का सामना कर रही है. राजस्थान में 4.74 करोड़ लोग मतदान करने के योग्य हैं, वहीं तेलंगाना में 2.80 करोड़ से ज्यादा मतदाता हैं. 

  6. तेलंगाना में मतदान सुबह 7 बजे शुरू हुआ जबकि राजस्थान में सुबह 8 बजे से मतदान शुरू हुआ. सभी विधानसभा क्षेत्रों में वीवीपैट का प्रयोग किया जाएगा. मतदाताओं के पास नोटा का भी विकल्प मौजूद होगा.

  7. दोनों राज्यों में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं. चुनाव नतीजे छत्तीसगढ़, मिजोरम और मध्यप्रदेश के साथ 11 दिसंबर को घोषित किए जाएंगे. 

  8. तेलंगाना में नई विधानसभा के चुनाव के लिए 2.8 करोड़ से ज्यादा मतदाता मतदान करेंगे. भारत के सबसे युवा राज्य की 119 विधानसभा सीटों पर 1,821 उम्मीदवारों की किस्मत एक चरण में होने वाले इस चुनाव में तय होगी.

  9. चुनाव अधिकारियों ने 32, 815 मतदान केंद्रों पर चुनाव प्रक्रिया सुचारू रूप से आयोजित करने के लिए व्यापक इंतजाम किए हैं. तेलंगाना के मुख्य चुनाव अधिकारी रजत कुमार के मुताबिक, 106 विधानसभा सीटों पर सुबह सात बजे से शाम पांच बजे तक मतदान होगा वहीं वाम चरमपंथ से प्रभावित 13 सीटों पर शाम चार बजे मतदान होगा. 

  10. दरअसल, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और मिजोरम में मतदान हो गया है. आज बाकी दो राज्यों में भी संपन्न हो जाएगा. जिसके बाद एग्जिट पोल का दौर शुरू होगा और 11 दिसंबर को अंतिम परिणाम सबके सामने होंगे.