'गेस्‍ट इन लंदन' मूवी रिव्‍यू: पुराने 'अतिथि...' जैसे ही हैं लंदन में गेस्‍ट बने परेश रावल

फिल्‍म की खामियों की बात करें तो इसकी स्क्रिप्‍ट काफी कमजोर है. साथ ही इसका स्‍क्रीनप्‍ले भी धीमा है और यह कहानी सीन्‍स में आगे बढ़ती है.

'गेस्‍ट इन लंदन' मूवी रिव्‍यू: पुराने 'अतिथि...' जैसे ही हैं लंदन में गेस्‍ट बने परेश रावल

फिल्‍म 'गेस्‍ट इन लंदन' का एक सीन.

खास बातें

  • 'गेस्‍ट इन लंदन' में कैमियो करते नजर आ रहे हैं अजय देवगन
  • फिल्‍म में कार्तिक आर्यन और कृति खरबंदा की जोड़ी अच्‍छी है
  • इस फिल्‍म को हमारी तरफ से मिलते हैं 2 स्‍टार
नई दिल्‍ली:

'प्‍यार का पंचनामा' में अपने मोनोलॉग के लिए प्रसिद्ध हुए एक्‍टर कार्तिक आर्यन इस हफ्ते रिलीज हुई फिल्‍म 'गेस्‍ट इन लंदन' में नजर आ रहे हैं. 'गेस्ट इन लंदन' आर्यन और उसकी पत्नी की कहानी है, जो लंदन में रहते हैं और एक दिन अचानक उनके घर बिन बुलाए मेहमान आ जाते हैं. उनके दूर के चाचा चाची आते तो मेहमान बनकर हैं, लेकिन अपने इन बिन बुलाए महमानों से यह दोनों इतने परेशान हो जाते हैं क‍ि उन्‍हें भगाना चाहते हैं. यही है इस फिल्‍म की कहानी. इस फिल्‍म में मुख्‍य भूमिका में कार्तिक आर्यन और उनकी पत्नी के किरदार में हैं साउथ की एक्‍ट्रेस कृति खरबंदा नजर आ रही हैं. वहीं चाचा-चाची का किरदार निभाया है परेश रावल और तनवी आजमी ने. इसके अलावा फिल्‍म में संजय मिश्रा ने भी तड़का लगाया है. फिल्‍म में अजय देवगन भी कैमियो करते नजर आने वाले हैं. फिल्‍म की कहानी रॉबिन भट्ट और अश्विनी धीर ने लिखी है और इसका निर्देशन अश्विनी धीर ने किया है.

 
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हर फिल्‍म की तरह इस फिल्‍म में भी कुछ हाई और कुछ लो मूमेंट्स हैं. फिल्‍म की खामियों की बात करें तो इसकी स्क्रिप्‍ट काफी कमजोर है. साथ ही इसका स्‍क्रीनप्‍ले भी धीमा है और यह कहानी सीन्‍स में आगे बढ़ती है. वैसे तो इस फिल्‍म की टीम का दावा था कि यह फिल्‍म 'अतिथि तुम कब जाओगे' का सीक्‍वेल नहीं है लेकिन कमजोर कहानी के साथ यह फिल्‍म 'अथिति तुम कब जाओगे' का ही दोहराव लगती है और इसलिए ह्यूमर काफी कम लगता है.
 
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वहीं अगर आप यह जानना चाहते हैं कि फिल्‍म की खूबियों में क्‍या शुमार है तो यह हैं फिल्‍म के दोनों नए कलाकार, कार्तिक आर्यन और कृति खरबंदा. इन दोनों ने ही अच्छा काम किया है और दोनों ही प्रॉमिसिंग लगते हैं. वहीं चाचा-चाची के किरदार में तनवी आजमी का काम अच्छा है और परेश रावल ठीक हैं.

अपने अभिनय से सबसे ज्‍यादा प्रभावित करते हैं संजय मिश्रा, जिन्‍हें देख कर ही हंसी आ जाती है. इस फिल्‍म का क्लाइमैक्स मुझे अच्छा लगा जो काफी इमोशनल है और इसे काफी अच्‍छी तरह से एक सच्ची घटना से जोड़ा गया है. इस फिल्‍म का क्‍लाइमेक्‍स आपको इमोशनल कर जाएगा.

इन खूबियों और खामियों के साथ, इस फिल्‍म को दिए जाते हैं 2 स्‍टार.

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