AAP ने भारत बंद के समर्थन का किया एलान, भगवंत मान बोले- " सेवा भावना से किसानों के साथ'

मान ने कहा कि संसद का विशेष सत्र बुलाकर इन तीनों काले कानूनों को वापस लिया जाए और इलेक्ट्रिसिटी एमेंडमेंट 2020 को टेबल न किया जाए.

AAP ने भारत बंद के समर्थन का किया एलान, भगवंत मान बोले-

नई दिल्ली:

आम आदमी पार्टी के सांसद भगवंत मान (Bhagwant Mann) ने कृषि कानूनों को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों द्वारा 8 दिसंबर को बुलाए गए बंद का समर्थन करने का एलान किया है. पंजाब के संगरूर से लोकसभा सांसद मान ने रविवार को घोषण की कि 8 दिसम्बर को सभी किसान संगठनों ने जिस भारत बंद का ऐलान किया है, उसे आम आदमी पार्टी समर्थन देती है. मान ने कहा, " पिछले 4 महीने से जब से यह संघर्ष चल रहा है, उसमें हम किसानों के साथ रहे हैं. अरविंद केजरीवाल की तरफ से देश की सभी पार्टियों और सभी लोगों से किसानों के इस भारत बंद के समर्थन का आह्वान करता हूं."

भगवंत मान ने कहा कि यह किसी विशेष संगठन या प्रान्त का मुद्दा नहीं है, यह किसानों की जमीन और चूल्हे से जुड़ा मुद्दा है.

आप सांसद ने कहा, "किसानों के साथ सरकार टालमटोल का रवैया अपना रही है. नीयत साफ हो तो इतनी मीटिंग्स की जरूरत नहीं होगी. इतना समय इसलिए लग रहा है क्योंकि मीटिंग में शामिल मंत्रियों को फैसला लेने का हक नहीं है, वे किसानों की बात सुनकर अपने आकाओं को कॉल करते हैं. अमित शाह और मोदी जी सीधे क्यों नहीं आ जाते बातचीत के लिए."

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मान ने कहा कि संसद का विशेष सत्र बुलाकर इन तीनों काले कानूनों को वापस लिया जाए और इलेक्ट्रिसिटी एमेंडमेंट 2020 को टेबल न किया जाए. उन्होंने कहा कि अगर आप सोचते हैं कि आपके लंबा खींचने से आंदोलन खत्म हो जाएगा, तो आप गलत हैं. मान ने मांग की कि अगर जीएसटी के लिए रात 12 बजे संसद खुल सकती है, तो इन कानूनों को वापस लेने के लिए क्यों नहीं खुलवा सकते.

उन्होंने आगे कहा, "अब किसान कह रहे हैं कि ये हाइवे नहीं, माई-वे है. कैसी विडंबना है कि संसद में 'yes or No' के ध्वनिमत से पारित कराए गए बिल को वापस लेने के लिए किसानों ने कल मीटिंग में 'Yes or No' का प्लेकार्ड पकड़ लिया. आम आदमी पार्टी सेवा भावना से किसानों के साथ खड़ी है और खड़ी रहेगी....

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...आजादी के संघर्ष में भी पंजाब ने लीड किया था, आजादी देशभर को मिली थी, इस लड़ाई में भी लीड. खिलाड़ियों ने अपने टैलेंट के बल पर अवार्ड जीते हैं, इसे लौटाने का मतलब है कि उन्हें अपनी मिट्टी से प्यार है, न कि इस अवार्ड से. इससे साबित होता है कि हर वर्ग का आदमी इन किसानों के साथ है"

पंजाब के सीएम पर निशाना साधते हुए भगवंत मान ने कहा, "कैप्टन अपने आप को बचाने की लड़ाई लड़ रहे हैं, किसानों को बचाने की नहीं. "

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