ब्रह्मोस की मारक क्षमता 450 किलोमीटर तक बढ़ने के आसार

ब्रह्मोस की मारक क्षमता 450 किलोमीटर तक बढ़ने के आसार

रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल की मारक क्षमता मौजूदा 290 किलोमीटर की दूरी से बढ़ाकर 450 किलोमीटर तक कर सकता है. डीआरडीओ प्रमुख एस. क्रिस्टोफर ने बुधवार को कहा कि इस मिसाइल की रेंज बढ़ाकर इसका परीक्षण 10 मार्च के आसपास किया जा सकता है.

इस मिसाइल को पनडुब्बियों, जहाजों, विमान या भूमि से प्रक्षेपित किया जा सकता है.

ब्रह्मोस रूस की एनपीओ माशीनोस्ट्रोयेनिया और भारत के डीआरडीओ का संयुक्त उपक्रम है.

मालूम हो कि वैसे ब्रह्मोस की रेंज 290 किलोमीटर है. भारत के पास मौजूद ब्रह्मोस सुपरसोनिक है यानी इसकी स्पीड करीब एक किलोमीटर प्रति सेकेंड है, जबकि चीन के पास मौजूद मिसाइल सबसोनिक यानी उसकी स्‍पीड 290 मीटर प्रति सेकेंड है. आम भाषा में समझे तो ब्रह्मोस चीनी मिसाइल से तीन गुना तेज है और इसे फायर करने में वक्त भी कम लगता है. साथ ही इसका निशाना चूकता नहीं है.

इसकी तैनाती के बाद अरुणाचल प्रदेश से चीन के 290 किलोमीटर के दायरे में आने वाली हर जगह इसकी पहुंच में होगी. यहां उन्‍नत ब्रह्मोस की तैनाती होगी जो पहाड़ों में छुपे दुश्मन के ठिकानों को भी निशाना बना सकता है. चीनी सेना के मुताबिक ब्रह्मोस की तैनाती से चीन के तिब्बत और युन्नान प्रांत खतरे की जद में आ जाएंगे.

भारत और रूस की मदद से बना ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल है जो ध्वनि से तीन गुना रफ्तार से हमला करता है. इसे पनडुब्बी, युद्धपोत, लड़ाकू विमान आदि से दागा जा सकता है.


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