खास बातें
- आईएएस के लिए इम्तिहान में अंग्रेजी को तरजीह दिए जाने पर विवाद बढ़ता जा रहा है। शिवसेना मराठी को शामिल न किए जाने से नाराज है तो बीजेपी ने कहा है कि वह क्षेत्रीय भाषाओं का मसला संसद में उठाएगी।
नई दिल्ली: आईएएस के लिए इम्तिहान में अंग्रेजी को तरजीह दिए जाने पर विवाद बढ़ता जा रहा है। शिवसेना मराठी को शामिल न किए जाने से नाराज है तो बीजेपी ने कहा है कि वह क्षेत्रीय भाषाओं का मसला संसद में उठाएगी। कांग्रेस ने कहा है कि जिसे शिकायत है वह यूपीएससी के पास जाएं राजनीति न करें।
दरअसल, इस बार से यूपीएससी के इम्तिहानों के पैटर्न में कुछ बदलाव किया गया है। अब मेन इम्तिहान में चार परचे
जनरल स्टडीज के होंगे और हर परचा 250 नंबर का होगा। 250−250 नंबरों के दो परचे विषयों के होंगे और 300 नंबर अंग्रेजी और निबंध के लिए हैं। अंग्रेजी को इतनी ज्यादा अहमियत दिए जाने का छात्र और कई राजनीतिक दल विरोध कर रहे हैं।