JNU पर बिहार के डिप्टी CM सुशील मोदी बोले- कैम्पस में बीफ पार्टी करने वाले शहरी नक्सली गरीब छात्रों को कर रहे हैं गुमराह

जेएनयू के छात्र हॉस्टल फीस में बढ़ोतरी के कारण पिछले 3 सप्ताह से आंदोलन कर रहे हैं. छात्रों ने सोमवार को संसद सत्र के शुरूआत होने के पहले ही दिन अपने मांगो के समर्थन में संसद मार्च किया था

JNU पर बिहार के डिप्टी CM सुशील मोदी बोले- कैम्पस में बीफ पार्टी करने वाले शहरी नक्सली गरीब छात्रों को कर रहे हैं गुमराह

सुशील मोदी ने ट्वीट कर जताया विरोध

नई दिल्ली :

जवाहर लालू नेहरू यूनिवर्सिटी (जेएनयू) में फीस बढ़ोतरी के खिलाफ चल रहे आंदोलन पर बिहार के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने ट्वीट कर विरोध जताया है. सुशील मोदी ने कहा है कि फीस बढ़तोरी इतना बड़ा मुद्दा नहीं है, बल्कि कैम्पस में बीफ पार्टी करने वाले शहरी नक्सली गरीब छात्रों को गुमराह करके अपनी राजनीतिक रोटियां सेंकना चाहते हैं.

उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा है, "जेएनयू में फीस वृद्धि कोई इतना बड़ा मुद्दा नहीं कि इसके लिए संसद मार्च निकाला जाए. हकीकत यह है कि जो शहरी नक्सली इस कैम्पस में बीफ पार्टी, पब्लिक किसिंग, महिषासुर महिमामंडन, स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा का मानभंजन और देश के टुकड़े-टुकड़े करने के नारे लगाने जैसी गतिविधियों में लगे हुए हैं वो अब गरीब छात्रों को गुमराह कर राजनीतिक रोटी सेंकना चाहते हैं."

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बता दें, जेएनयू के छात्र हॉस्टल फीस में बढ़ोतरी के कारण पिछले 3 सप्ताह से आंदोलन कर रहे हैं. छात्रों ने सोमवार को संसद सत्र के शुरूआत होने के पहले ही दिन अपने मांगो के समर्थन में संसद मार्च किया था. संसद मार्च के दौरान छात्र और पुलिस में झड़प हो गई थी जिसमें कई छात्र और कुछ पुलिस कर्मी घायल हो गए थे.

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घटना के बाद यह मुद्दा मंगलवार को लोकसभा में गूंजा. तृणमूल कांग्रेस के सौगत राय ने छात्रों पर किये गये पुलिस के कथित बलप्रयोग का मुद्दा शून्यकाल के दौरान उठाते हुए कहा कि यह दुखद है कि जेएनयू के छात्रों पर लाठियां चलाई गई हैं. हमारे यहां यह व्यवस्था है कि उच्च शिक्षा सरकारी खर्च पर मिले, ताकि गरीब बच्चे भी उच्च शिक्षा हासिल कर सके. वहीं कांग्रेस सदस्य टी एन प्रतापन ने भी शून्यकाल के दौरान यह मुद्दा उठाते हुए कहा, "जेएनयू में सरकार आवाज दबाने की कोशिश कर रही है. वह पुलिस लाठीचार्ज की दमनात्मक कार्रवाई की उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हैं." 

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सुशील मोदी के ट्वीट के बाद सोशल मीडिया में उनके बयान की जमकर चर्चा हो रही है. वहीं बिहार के जाने माने शिक्षक सह सुपर 30 के संचालक आंनद कुमार ने कहा है कि गरीब मेधावी छात्रों को छात्रवृत्ति और अन्य तरीके से मदद मुहैया करानी चाहिए. उन्होंने कहा, ‘‘अधिकारियों, छात्रों को एक साथ बैठ एक समाधान निकालना चाहिए. सरकार को फीस बढ़ाने के निर्णय पर एक बार फिर विचार करना चाहिए ताकि जरूरतमंद वंचित ना रह जाएं.''

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