गुजरात में अब गोहत्‍या पर उम्रकैद का प्रावधान, गो मांस की हेराफेरी पर 10 साल की सजा

गुजरात में अब गोहत्‍या पर उम्रकैद का प्रावधान, गो मांस की हेराफेरी पर 10 साल की सजा

इससे पहले कानून में राज्‍य में गोकशी पर सात साल की सजा का प्रावधान था.(प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर)

खास बातें

  • गोहत्‍या संशोधन बिल विधानसभा में पारित हुआ
  • पहले गोकशी के दोषी के लिए सात साल की सजा थी
  • अब उसको उमकैद में बदला गया है और जुर्माना दोगुना किया गया
अहमदाबाद:

यूपी में अवैध बूचड़खानों पर चल रही कार्रवाई के बीच गुजरात विधानसभा ने एक सख्‍त कानून पास किया है. इसके तहत गोहत्‍या संशोधन बिल पास हो गया है. इस नए कानून के तहत अब गोहत्‍या के दोषियों को उम्रकैद की सजा का प्रावधान किया गया है. अब गोवंश के साथ पकड़े जाने पर जमानत नहीं मिल सकती है. गो मांस की हेराफेरी करते हुए पकड़े जाने पर सात से 10 साल तक की सजा और एक से पांच लाख तक का दंड हो सकता है. इस संशोधित कानून को शुक्रवार को विधानसभा सत्र के आखिरी दिन पास किया गया.

इसके साथ ही गाय की तस्‍करी पर भी सख्‍त पाबंदी लगा दी गई है. गौमांस का ट्रांसफर करते हुए जो वाहन पकड़े जाएंगे वो वाहन हमेशा के लिए जब्‍त हो जाएंगे. अगर जानवरों को लाने-ले जाने से संबंधित लाइसेंस भी है तब भी ये हेराफेरी रात के समय नहीं की जा सकेगी. इसके तहत शाम सात बजे से सुबह पांच बजे तक इनको एक स्‍थान से दूसरे स्‍थान पर ले जाने पर भी पाबंदी लगा दी गई है.

गौमांस का ट्रांसफर करने वाले पर भी 120 बी यानी षडयंत्र के तहत उसके खिलाफ कार्यवाही की जाएगी. गौरतलब है कि गुजरात विधानसभा में इससे पहले जब नरेंद्र मोदी की सरकार थी तब भी गाय प्रोटेक्‍शन बिल पास किया गया था, जिसमें 2007 में बदलाव किया गया गया था. उसमें गोहत्‍या के दोषियों के लिए अधिकतम सात साल की सजा का प्रावधान किया गया था. उसी कानून में संशोधन के तहत अब उम्रकैद का प्रावधान किया गया है. नए कानून में जुर्माने की राशि को 50 हजार से बढ़ाकर दोगुना कर दिया गया है.


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