नेशनल हेराल्ड मामला: सुब्रमण्यम स्वामी की याचिका पर कांग्रेस की 2010-11 की बैलेंस शीट तलब

नेशनल हेराल्ड मामला: सुब्रमण्यम स्वामी की याचिका पर कांग्रेस की 2010-11 की बैलेंस शीट तलब

बीजेपी नेता सुब्रमण्यम स्वामी (फाइल फोटो)

नई दिल्ली:

दिल्ली की एक अदालत ने शुक्रवार को नेशनल हेराल्ड मामले में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की 2010-11 की बैलेंस शीट तलब की। इस मामले में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, उपाध्यक्ष राहुल गांधी और पांच अन्य आरोपी हैं।

इसके अलावा अदालत ने एसोसिएटेड जर्नल्स प्राइवेट लिमिटेड (एजेएल) की साल 2010-11 की बैलेंस शीट मांगी और कहा कि कांग्रेस एवं एजेएल के इन दस्तावेजों को आरोपियों के ‘निजी दस्तावेत’ के तौर पर नहीं पेश किया जा सकता।

मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट लवलीन ने अपने तीन पृष्ठों के आदेश में कहा, ‘‘इसी के अनुसार आदेश दिया जाता है कि साल 2010-11 से संबंधित कांग्रेस की बैलेंस शीट को अगली सुनवाई पर पेश किया जाए।’’

यह आदेश भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी की उस याचिका पर आया है जिसमें उन्होंने 2010-11, 2011-12 और 2012-13 के वर्षों के लिए कांग्रेस, एसोसिएटेड जर्नल्स प्राइवेट लिमिटेड (एजेएल) के वित्तीय विवरण से संबंधित दस्तावेजों को तलब करने की मांग की थी।

स्वामी ने यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड (वाईआई) के दस्तावेजों को भी तलब करने की मांग की थी, हालांकि बाद में दलीलें पेश किए जाने के दौरान उन्होंने इस पर जोर नहीं दिया। स्वामी ने इन दस्तावेजों को तलब करने की मांग करते हुए दलील दी थी कि नेशनल हेराल्ड मामले की जांच में इनकी जरूरत है। इस मामले पर आगे की सुनवाई अब आगामी 21 मार्च को होगी।

अपने आदेश में अदालत में ‘आरोपियों के खिलाफ ये आरोप हैं कि ये सभी लोग या कुछ इन सभी तीन इकाइयों अथवा इनमें से किसी एक में महत्वपूर्ण पदों पर हैं तथा उन्होंने गलत लाभ लेने के मकसद से अपने पदों का दुरूपयोग किया जिसका उल्लेख 26 जून, 2014 के सम्मन वाले आदेश में है।’

अदालत ने कहा, ‘‘आरोपियों को सम्मन करने का एक कारण यह है कि उन्होंने कांग्रेस के कोष से एजेएल को करीब 90 लाख रुपये का ब्याज रहित कर्ज दिया और ऐसे में कर में छूट का दावा करके कांग्रेस पार्टी के अनुदाताओं तथा सरकारी खजाने के साथ धोखा किया गया।’’ कांग्रेस के साल 2010-11 के दस्तावेज के अलावा अदालत ने इसी वित्तीय वर्ष के ऐजेएल के दस्तावेज भी मांगे हैं।

उन्होंने 26 जून, 2014 के अदालत के उस आदेश का हवाला दिया जिसमें कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, उपाध्यक्ष राहुल गांधी, मोतीलाल वोरा, ऑस्कर फर्नांडीस, सुमन दूबे और सैम पित्रोदा को इस मामले में बतौर आरोपी सम्मन किया गया था। इस मामले में शिकायतकर्ता स्वामी ने कहा था कि इन दस्तावेजों को तलब करने के पर्याप्त आधारों का उल्लेख 26 जून, 2014 के आदेश में था। अदालत ने साल 2010-11, 2011-12 और 2012-13 के वर्षों के लिए कांग्रेस, ऐजेएल और वाईआई की बैलेंस शीट, रसीद, आय एवं खर्च के विवरण तलब करने को लेकर स्वामी की दलीलों पर सुनवाई की थी। स्वामी ने सोनिया, राहुल और दूसरों पर नेशनल हेराल्ड मामले में वित्तीय अनियमितता का आरोप लगाया है।

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)