भारत-थाईलैंड के रिश्ते सिर्फ सरकारों के बीच के नहीं हैं : पीएम नरेंद्र मोदी

भारत-थाईलैंड के रिश्ते सिर्फ सरकारों के बीच के नहीं हैं. इतिहास के हर पल ने, इतिहास की हर घटना ने, हमारे संबंधों को विकसित किया है, विस्तृत किया है, गहरा किया है और नई ऊंचाइयों तक पहुंचा है. ये रिश्ते दिल के हैं, आत्मा के हैं, आस्था के हैं, आध्यात्म के हैं.

नई दिल्‍ली:

आसियान-भारत शिखर सम्‍मेलन में हिस्‍सा लेने थाईलैंड पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को वहां भारतीय समुदाय को संबोधित किया. थाईलैंड में 'स्वास्दी मोदी' कार्यक्रम में अपने संबोधन की शुरुआत करते हुए पीए मोदी ने कहा, 'प्राचीन सुवर्णभूमि, थाइलैंड में आप सभी के बीच हूं तो लगता ही नहीं है कि कहीं विदेश में हूं. ये माहौल, ये वेशभूषा, हर तरफ से अपनेपन का आभास मिलता है, अपनापन झलकता है. आप भारतीय मूल के हैं सिर्फ इसलिए नहीं, बल्कि थाइलैंड के कण-कण, जन-जन में भी अपनापन नज़र आता है. यहां की बातचीत में, यहां के खान-पान में, यहां की परंपराओं में, आस्था में, आर्किटेक्चर में, भारतीयता की झलक है.'

भारत और थाईलैंड के बीच संबंधों की चर्चा करते हुए उन्‍होंने कहा, 'भारत-थाईलैंड के रिश्ते सिर्फ सरकारों के बीच के नहीं हैं. इतिहास के हर पल ने, इतिहास की हर घटना ने, हमारे संबंधों को विकसित किया है, विस्तृत किया है, गहरा किया है और नई ऊंचाइयों तक पहुंचा है. ये रिश्ते दिल के हैं, आत्मा के हैं, आस्था के हैं, आध्यात्म के हैं. हजारों साल पहले दक्षिण पूर्वी एशिया के साथ समुद्र के रास्ते जुड़े, हमारे नाविकों ने तब समुद्र की लहरों पर हजारों मील का फासला तय करके समृद्धि और संस्कृति के जो सेतु बनाएं वो आज भी विद्यमान हैं.' पीएम मोदी #SawasdeePMModi

पीएम मोदी ने कहा, 'पूरे विश्व में भारतीय समुदाय की ये छवि हर हिंदुस्तानी के लिए, पूरे भारत के लिए बहुत गर्व की बात है और इसके लिए विश्वभर में फैले हुए आप सभी बन्धु बधाई के पात्र हैं.

130 करोड़ भारतीय आज न्यू इंडिया के निर्माण में लगे हैं. आपमें से जो लोग 5-7 साल पहले भारत गए हों, उन्हें अब भारत जाने पर सार्थक परिवर्तन स्पष्ट दिखता होगा. आज जो परिवर्तन भारत में आ रहा है उसी का परिणाम है कि देशवासियों ने फिर एक बार मुझे, अपने इस सेवक को पहले से भी ज्यादा आशीर्वाद दिया है. भारत में 6 दशक बाद किसी सरकार को 5 साल का कार्यकाल पूरा करने के बाद पहले से भी ज्यादा जनसमर्थन मिला है. 60 साल पहले एक बार ऐसा हुआ है. 60 साल बाद ये पहली बार हुआ है. इसकी वजह है पिछले 5 साल में भारत की उपलब्धियां.

2022 तक हर गरीब को अपना पक्का घर देने के लिए भी पूरी शक्ति के साथ प्रयास किया जा रहा है. मुझे विश्वास है कि भारत की इन उपलब्धियों के बारे में जब आप सुनते होंगे तो गर्व की अनुभूति और बढ़ जाती होगी. थोड़ी देर पहले भारत के दो महान सपूतों, दो महान संतों से जुड़े स्मारक चिन्ह जारी करने का अवसर मुझे मिला है. मुझे याद है कि 3-4 साल पहले संत थिरु वल्लुवर की महान कृति थिरुक्कुराल के गुजराती अनुवाद को जारी करने का अवसर मुझे मिला था. आज गुरु नानक देव जी के 550वें प्रकाशोत्सव के उपलक्ष्य में स्मारक सिक्के भी जारी किए गए हैं. मुझे बताया गया कि बैंकॉक में आज से 50 साल पहले गुरु नानक देव जी का ‘500वां प्रकाशोत्सव बहुत धूम-धाम से मनाया गया था.

इस पवित्र पर्व के मौके पर भारत सरकार बीते एक वर्ष से बैंकॉक सहित पूरे विश्व में कार्यक्रम आयोजित कर रही है. गुरु नानक देव जी सिर्फ भारत के, सिख पंथ के ही नहीं थे, बल्कि उनके विचार पूरी दुनिया, पूरी मानवता की धरोहर हैं. आपको इस बात की भी जानकारी होगी कि कुछ दिनों बाद करतारपुर साहेब से भी अब सीधी कनेक्टिविटी सुनिश्चित होने वाली है. 9 नवंबर को करतारपुर कॉरिडोर खुलने के बाद अब भारत से श्रद्धालु सीधे करतारपुर साहेब जा सकेंगे.

बीते 4 साल में भारत ने ट्रेवल और टूरिज्म के ग्लोबल इंडेक्स में 18 रैंक का जंप लिया है. आने वाले समय में Tourism के ये संबंध और मजबूत होने वाले हैं. आसियान देशों के साथ अपने सम्बन्धों को बढ़ावा देना हमारी सरकार की विदेश नीति की प्राथमिकताओं में है. इसके लिए हमने Act East Policy को विशेष महत्व दिया है. पिछले साल, भारत-आसियान dialogue partnership की silver जुबिली थी.

फिजिकल इंफ्रास्ट्रक्चर हो या फिर Digital Infrastructure, आज भारत की World Class सुविधाओं का विस्तार हम थाइलैंड और दूसरे आसियान देशों को जोड़ने में भी कर रहे हैं. एयर हो, Sea हो या फिर रोड कनेक्टिविटी, भारत और थाईलैंड बहुत तेज़ी से आगे बढ़ रहे हैं. हमारे प्रचीन ट्रेड रिलेशन्स में टेक्सटाइल कि विशेष भूमिका रही है. अब पर्यटन इस कड़ी को और मजबूत कर रहा है. थाईलैंड सहित पूरे आसियान रीजन के लिए भारत आकर्षक डेस्टिनेशन के रूप में उभर रहा है.

बीते 5 सालों से हमने ये निरंतर प्रयास किया है कि दुनिया भर में बसे भारतीयों के लिए सरकार हर समय उपलब्ध रहे और भारत से उनके कनेक्ट को मजबूत किया जाए. इसके लिए OCI Card स्कीम को अधिक Flexible बनाया गया है.

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तीन दिवसीय दौरे पर बैंकॉक पहुंचे मोदी तीन नवंबर को 16वें आसियान-भारत शिखर सम्मेलन और 14 नवंबर को पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे. इसके साथ ही वह चार नवंबर को तीसरे आरसीईपी शिखर सम्मेलन की बैठक में भाग लेंगे. मोदी चार नवंबर को नेताओं के लिए आयोजित एक विशेष भोज में भी हिस्सा लेंगे, जो कि थाईलैंड के प्रधानमंत्री द्वारा आसियान के अध्यक्ष के रूप में आयोजित किया जाएगा.