यह ख़बर 03 अक्टूबर, 2011 को प्रकाशित हुई थी

रेड्डी व करीबियों के यहां सीबीआई के छापे

खास बातें

  • कर्नाटक के खनन घोटाला मामले में सीबीआई ने रेड्डी की कम्पनी के दफ्तर एवं उनके करीबियों के घरों पर छापेमारी की।
बेल्लारी/हैदराबाद:

कर्नाटक के खनन घोटाला मामले में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने सोमवार को खनन कारोबारी जी. जनार्दन रेड्डी की कम्पनी के दफ्तर एवं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक विधायक सहित रेड्डी के करीबियों के घरों पर छापेमारी की। उधर, एक विशेष अदालत ने पूर्व मंत्री रेड्डी और उनके रिश्तेदार की न्यायिक हिरासत बढ़ा दी। सीबीआई के एक प्रवक्ता ने विवरण देने से इंकार करते हुए सिर्फ इतना कहा कि बेंगलुरू से लगभग 300 किलोमीटर दूर बेल्लारी में छापेमारी के दौरान जांच दल ने कई दस्तावेज जब्त किए। प्रवक्ता ने कहा कि बेल्लारी जिले के कुडलिगी से भाजपा विधायक बी. नागेंद्रा के आवास की सबसे पहले तलाशी ली गई। इसके बाद जनार्दन रेड्डी और उनकी पत्नी लक्ष्मी अरुणा के स्वामित्व वाली एसोसिएटेड माइनिंग कम्पनी (एएमसी) के कार्यालयों, एएमसी के पूर्व मालिक के घर और डेक्कन माइनिंग सिंडीकेट के कार्यालयों पर भी छापे मारे गए। सीबीआई के सूत्रों ने बताया कि सज्जन जिंदल के स्वामित्व वाली कम्पनी जिंदल स्टील वर्क्‍स के दफ्तरों पर भी तलाशी ली गई। बाद में इस कम्पनी द्वारा जारी बयान में हालांकि कहा गया कि उसके दफ्तरों पर छापेमारी नहीं हुई है। मध्य कर्नाटक के दावणगेरे में सीबीआई ने दावणगेरे जिला पंचायत के मुख्य कार्यकारी अधिकारी मुथैया के आवास की भी तलाशी ली। वह पहले बेल्लारी में उप वन संरक्षक थे। ज्ञात हो कि राज्य के पूर्व पर्यटन मंत्री जनार्दन रेड्डी और ओबुलापुरम खनन कम्पनी के प्रबंध निदेशक बीवी श्रीनिवास रेड्डी को पांच सितम्बर को गिरफ्तार कर लिया गया था। दोनों पर आंध्र प्रदेश में अवैध खनन के आरोप हैं। दोनों फिलहाल हैदराबाद के चंचलगुडा जेल में हैं। प्रवक्ता ने कहा कि सीबीआई की टीमें दावणगेरे और चित्रदुर्ग जिलों में कर्नाटक वन विभाग के कुछ अधिकारियों के घरों की भी तलाशी ले रही हैं। सर्वोच्च न्यायालय ने कर्नाटक में भी रेड्डी की अवैध खनन गतिविधियों की सीबीआई जांच करने के आदेश दिए हैं। उधर, हैदराबाद में सीबीआई की विशेष अदालत ने सोमवार को जी. जनार्दन रेड्डी और उनके रिश्तेदार श्रीनिवास रेड्डी की न्यायिक हिरासत 17 अक्टूबर तक के लिए बढ़ा दी। दोनों आरोपियों की न्यायिक हिरासत की अवधि सोमवार को समाप्त हो रही थी। विशेष अदालत ने जांच एजेंसी द्वारा दायर एक आवेदन पर यह आदेश पारित किया। सीबीआई ने न्यायिक हिरासत बढ़ाने की मांग की थी। न्यायाधीश ने अदालत और चंचलगुडा जेल के बीच वीडियो सम्पर्क के जरिए सुनवाई की। आरोपी इसी जेल में कैद हैं। सीबीआई अधिकारियों ने कहा कि सुरक्षा कारणों से आरोपियों को नामपल्ली आपराधिक न्यायालय में नहीं लाया गया। इससे पहले न्यायालय ने 30 सितम्बर को दोनों आरोपियों की जमानत याचिकाएं खारिज कर दी थीं। उसी दिन न्यायालय ने आरोपियों की सीबीआई हिरासत बढ़ाने से भी इंकार कर दिया था। सीबीआई ने दोनों को आंध्र प्रदेश के अनंतपुर जिले में अवैध खनन के आरोप में कर्नाटक के बेल्लारी से पांच सितम्बर को गिरफ्तार किया था।


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