रिक्शा चलाने वाला आबिद बना ईमानदारी की मिसाल, सड़क पर मिले एक लाख रुपये लौटाए

रिक्शा चलाने वाला आबिद बना ईमानदारी की मिसाल, सड़क पर मिले एक लाख रुपये लौटाए

जयपुर:

भ्रष्टाचार और घोटालों की दुनिया में आबिद और अमीना जैसे लोग भी होते हैं, जो समाज के लिए मिसाल हैं।
आबिद जयपुर में रिक्शा चलता है। उसका गुजारा मुश्किल से होता है। वह प्रतिदिन सौ-दो सौ रुपये मजदूरी करके कमा लेता है। काफी तंगी में जीवन यापन के बावजूद आबिद को जब रास्ता चलते एक बैग में  1,17,000 रुपये मिले, तो उसने दूसरे ही दिन वह पैसे पुलिस के सुपुर्द कर दिए।

आबिद कुरैशी पुलिस कमिसनर के दफ्तर पहुंचा। उसने वहां कहै कि "शाम 4 बजे मुझे यह पैसा मिला रास्ते में मिला। हम रात के दस बजे तक बैठे रहे कि कोई आएगा, लेकिन कोई नहीं आया तो मैं घर चला गया। अब मैं यहां देने आया हूँ यह पैसे। इसे हम कैसे रख लेते, हमें तो वापस देना है।"

आबिद रात में 10 बजे तक वहीं जयपुर के चौरा रास्ता बाजार में बैठा रहा, जहां उसे पैसे मिले थे। उसने सोचा कि शायद जिसने पैसे गिराए हैं वह वहां ढूंढता हुआ आ जाएगा। वह रात में जब घर पहुंचा तो उसकी बीवी अमीना का भी यही कहना था कि पैसे लौटा दो।

पत्रकारों ने जब उक्त दंपति से सवाल किया कि अगर आप पैसे रख लेते तो किसी को पता भी नहीं चलता । आपने ऐसा क्यों किया? तो आबिद की पत्नी अमीना बानो ने कहा "क्यों रख लेते, हमें तो ऐसा सिखाया ही नहीं है कि हम रख लें। ईमानदारी की तो रोटी और चटनी ही बहुत है हमारे लिए। हम पैसे वापस देना चाहते हैं। "

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जयपुर के पुलिस कमिश्नर जंगा श्रीनिवास रो भी आबिद को पैसे लौटाते देखकर हैरत में पड़ गए। भ्रष्टाचार  की इस दुनिया में ऐसे लोग तो उनके सामने कम ही आते होंगे। उन्होंने कहा "यह बहुत अच्छा है। यह आदमी एक रिक्शा चलता है, ठेला चलता है और इस तरह के आदमी के हाथ अगर एक लाख रुपये लगें और वह ईमानदारी से पुलिस के सुपुर्द कर दे तो यह क़ाबिले तारीफ है। "
 
आबिद और अमीना की कई जरूरतें एक लाख रुपये से पूरी हो सकती थीं। बच्चों की पढ़ाई , बेटी की शादी का खर्च वगैरह। लेकिन इस ईमानदार शख्स को ऐसा एक पैसा भी मंजूर नहीं हुआ, जिस पर उसका हक़ न हो।