यह ख़बर 08 अप्रैल, 2012 को प्रकाशित हुई थी

सरबजीत की बहन ने भाई की रिहाई के लिए दरगाह शरीफ में की जियारत

खास बातें

  • पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी के अजमेर आने से एक दिन पहले आज सरबजीत की बहन ने दरगाह शरीफ में अपने भाई की रिहाई के लिए जियारत की।
अजमेर:

पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी के अजमेर आने से एक दिन पहले आज सरबजीत की बहन ने दरगाह शरीफ में अपने भाई की रिहाई के लिए जियारत की।

सरबजीत की बहन दलबीर कौर ने कहा, ‘‘ख्वाजाजी के करम से पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी यहां आ रहे हैं और मुझे आशा और विश्वास है कि पिछले 22 साल से पाकिस्तान में जेल में बंद मेरा भाई को भी ख्वाजाजी का करम नसीब होगा। ’’ इस अवसर पर सरबजीत की बेटी स्वपनदीप भी अपनी बुआ के साथ थी।

दलबीर ने कहा कि वषरें पहले बेनजीर भुट्टो दरगाह आयी थीं और अपने पति की रिहाई के लिए जियारत की थीं और जब वह रिहा हो गए तब दोनों ख्वाजा को धन्यवाद करने फिर आए।

Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com

मजार पर चादर चढ़ाने के बाद उन्होंने कहा, 'अब मैं भी ख्वाजाजी से पाकिस्तानी जेल से अपने भाई की रिहाई की प्रार्थना के साथ जियारत कर रही हूं। वह पिछले 22 साल से जेल में है। मैं फिर अपने भाई के साथ यहां आऊंगी।' उन्होंने कहा, 'चूंकि जरदारी को सरबजीत के क्षमादान अनुरोध पर फैसला करना है, मैं यहां इसलिए आयी हूं कि मुझे खबर मिली है कि पाकिस्तान के राष्ट्रपति दरगाह पर आ रहे हैं। यहां हरेक की फरियाद सुनी जाती है।' सरबजीत को पाकिस्तान में मौत की सजा सुनायी गयी है।