कुछ इस तरह की होगी संसद भवन की नई बिल्डिंग, 10 दिसंबर को पीएम मोदी करेंगे भूमि पूजन

अधिकारियों ने सितंबर में बताया था कि इसके लिए कंपनी ने 861.90 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी. संसद के नए परिसर को बनाने में तकरीबन एक साल लगने की उम्मीद है.

कुछ इस तरह की होगी संसद भवन की नई बिल्डिंग, 10 दिसंबर को पीएम मोदी करेंगे भूमि पूजन

नए संसद भवन का डिजाइन त्रिभुज आकार का होगा.

नई दिल्ली:

भारत ने नए संसद भवन की पहली तस्वीर सामने आ गई है. संसद भवन की नई इमारत का डिजाइन त्रिभुज (Triangle) के आकार का होगा और पुराने परिसर के पास इसका निर्माण होगा. नए भवन का निर्माण टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड करेगी. बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) नए संसद (Parliament) भवन के निर्माण के लिए भूमि पूजन 10 दिसंबर को करेंगे. नई बिल्डिंग में एक बड़ा कॉस्टीट्यूशन हॉल होगा, जिसमें भारत की लोकतांत्रिक विरासत की झलक दिखाई देगी. इसके अलावा, संसद सदस्यों के लॉन्ज, कई कमेटियों के लिए कमरे, डाइनिंग एरिया और पर्याप्त पार्किंग स्पेस होगा. 

संसद भवन की नई बिल्डिंग के भूमि पूजन का निमंत्रण पीएम मोदी को देने के लिए आज दोपहर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला (Om Birla) प्रधानमंत्री आवास पहुंचे. बिरला ने प्रस्तावित भवन के बारे में विवरण पेश करते हुए कहा, ‘‘लोकतंत्र का वर्तमान मंदिर अपने 100 साल पूरे कर रहा है. यह देशवासियों के लिये गर्व का विषय होगा कि नए भवन का निर्माण हमारे अपने लोगों द्वारा किया जाएगा, जो आत्मनिर्भर भारत का एक प्रमुख उदाहरण होगा.''

उन्होंने कहा, ‘‘नए भवन के माध्यम से देश की सांस्कृतिक विविधता प्रदर्शित होगी. आशा है कि आजादी के 75 साल पूरे होने पर संसद का सत्र नए भवन में आयोजित होगा.'' लोकसभा अध्यक्ष के अनुसार, संसद की नयी इमारत भूकंप रोधी क्षमता वाली होगी और इसके निर्माण में 2000 लोग सीधे तौर पर शामिल होंगे तथा 9000 लोगों की परोक्ष भागीदारी होगी. उन्होंने बताया कि नए संसद भवन में 1224 सांसद एकसाथ बैठ सकेंगे और मौजूदा श्रम शक्ति भवन (संसद भवन के निकट) के स्थान पर दोनों सदनों के सांसदों के लिए कार्यालय परिसर का निर्माण कराया जाएगा.

बिरला ने कहा कि संसद के वर्तमान भवन को देश की पुरातात्त्विक संपत्ति के तौर पर संरक्षित रखा जाएगा. उन्होंने कहा कि नए भवन के निर्माण की आधारशिला संबंधी कार्यक्रम के लिए सभी राजनीतिक दलों को आमंत्रित किया जाएगा. कुछ लोग मौके पर मौजूद होंगे तथा अन्य लोग डिजिटल माध्यम शामिल होंगे. इस कार्यक्रम में कोरोना वायरस से संबंधित सभी दिशा निर्देशों का पालन होगा.

बिरला ने शनिवार को प्रधानमंत्री मोदी को इस कार्यक्रम का औपचारिक निमंत्रण दिया. नियमों के मुताबिक, लोकसभा का अध्यक्ष संसद भवन का संरक्षक भी होता है. नए भवन के निर्माण के दौरान वायु एवं ध्वनि प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए पर्याप्त उपाय किए गए हैं.

बिरला का कहना है कि नए संसद भवन में सभी सांसदों के लिए अलग कार्यालय होंगे जो आधुनिक डिजिटल सुविधाओं से युक्त होंगे तथा यह ‘कागज रहित कार्यालय' बनाने की दिशा में कदम होगा. नए संसद भवन में एक विशाल संविधान कक्ष होगा, जिसमें भारत की लोकतांत्रिक धरोहर को प्रदर्शित किया जाएगा. इसके साथ ही सांसदों के लिए एक लॉन्ज होगा. उनके लिए पुस्तकालय, विभिन्न समितियों के कक्ष, भोजन कक्ष और पार्किंग क्षेत्र होगा.

इस भवन के लोकसभा कक्ष में 888 सदस्यों के बैठने की क्षमता होगी, जबकि राज्यसभा कक्ष में 384 सदस्य बैठ सकेंगे. यह भविष्य में दोनों सदनों के सदस्यों की संख्या में बढ़ोतरी किए जाने की संभावना को ध्यान में रखते हुए किया जा रहा है. मौजूदा में समय में लोकसभा के 543 और राज्यसभा के 245 सदस्य हैं. यह नया भवन सेंट्रल विस्टा परियोजना के तहत है और इसे वर्तमान संसद भवन के नजदीक बनाया जाएगा.

अधिकारियों ने सितंबर में बताया था कि इसके लिए कंपनी ने 861.90 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी. संसद के नए परिसर को बनाने में तकरीबन एक साल लगने की उम्मीद है. एलएंडटी ने इस परियोजना के लिए 865 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी. केंद्रीय लोक निर्माण विभाग ने नए संसद भवन की अनुमानित लागत 940 करोड़ रुपये रखी थी. 

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) और एनसीपी नेता सुप्रिया सुले (Supriya Sule) ने इमारत के निर्माण की टाइमिंग को लेकर सरकार पर प्राथमिकताओं को नजरअंदाज करने का आरोप लगाया है क्योंकि भारत इस समय कोरोनावायरस महामारी के दौर से गुजर रहा है. 

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(इनपुट एजेंसी भाषा और एएनआई से भी)