यह ख़बर 13 अक्टूबर, 2011 को प्रकाशित हुई थी

उपहार कांड : सुप्रीम कोर्ट ने घटाया मुआवजा

खास बातें

  • हाईकोर्ट ने हादसे के शिकार 20 साल से अधिक के लोगों को 18 लाख मुआवजा देने का निर्देश दिया था, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने 10 लाख कर दिया है।
नई दिल्ली:

1997 के उपहार सिनेमा हादसे में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली हाईकोर्ट द्वारा तय की गई मुआवजे की रकम को घटा दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली हाईकोर्ट द्वारा अंसल बंधुओं पर लगाए गए अर्थदंड को भी 2.5 करोड़ रुपये से घटाकर 25 लाख रुपये कर दिया है। इस मामले में 20 वर्ष से अधिक आयु के मृतकों के परिवार को मुआवजे की राशि 18 लाख रुपये से घटाकर 10 लाख रुपये और 20 वर्ष से कम आयु के मृतकों के परिवार को मुआवजे की राशि 15 लाख रुपये से घटाकर साढ़े सात लाख रुपये कर दी गई है। गौरतलब है कि 13 जून, 1997 को दिल्ली के ग्रीन पार्क स्थित उपहार सिनेमा में लगी भीषण आग में 59 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 100 से अधिक लोग झुलस गए थे। आग पार्किंग लॉट से शुरू होकर कुछ ही देर में पूरी इमारत में फैल गई थी। इस कारण मची भगदड़ और दम घुटने से अधिकतर लोगों की मौत हुई। सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया है कि मुआवजे की रकम में से 85 फीसदी अंसल बंधुओं को देना होगा, जबकि शेष 15 फीसदी राशि का भुगतान दिल्ली बिजली बोर्ड को करना होगा। उपहार कांड पर फैसले के साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने सिनेमा हॉल की सुरक्षा के लिए दिशा-निर्देश भी जारी किए हैं। इसके मुताबिक सभी सिनेमा हॉल को इमरजेंसी प्लान बनाना होगा और मंजूर कराना होगा। हर शो से पहले अंदर आने और बाहर जाने और सुरक्षा उपायों की डॉक्यूमेंट्री दिखानी होगी। सिनेमा हॉल के कर्मचारियों को बेहतर ट्रेनिंग देने की भी बात सुप्रीम कोर्ट ने कही है। सिनेमा हॉल और मल्टीप्लेक्स की हर 6 महीने में जांच करानी होगी। सुरक्षा उपायों पर हर सिनेमा हॉल की एक रेटिंग होगी। जो सबसे बेहतर होगी, उसे ग्रीन, उसके बाद येलो और सबसे खराब को रेड रेटिंग दी जाएगी।


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