India | Reported by: भाषा |शनिवार अक्टूबर 29, 2022 06:54 AM IST गोंडा के कैसरगंज से सांसद सिंह ने कहा,''पहले नेता आंदोलनों,विद्यार्थी परिषद और छात्र राजनीति से तप कर उच्च पदों पर चुन कर आते थे. लेकिन अब वह सब बंद हो गया है. अब ऐसे नेताओं की संख्या भी काफी कम हो गई है. अब नेता केवल पदेन आने लगे है. पदेन आकर नेता विधायक तो बन जाते है. लेकिन उनमें अंदर जिगरा नहीं आ पाया है. पदेन आकर नेता सांसद भी बन गए, लेकिन उनकी सर कहने की आदत नहीं गई.