'Kartik Purnima 2019' - 5 न्यूज़ रिजल्ट्स
- Food Lifestyle | मंगलवार नवम्बर 12, 2019 12:24 PM ISTKartik Purnima 2019: धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस दिन स्नान और दान करना काफी फलदायक माना जाता है. कार्तिक पूर्णिमा के दिन को और खास बनाने के लिए घर पर आसानी से बनाएं घनिया पंजिरी. यहां जानें रेसिपी.
- Career | मंगलवार नवम्बर 12, 2019 10:45 AM ISTगुरु नानक जंयती (Guru Nanak Jayanti) देश भर में बड़े ही प्रेम और उत्साह के साथ मनाई जाती है. गुरु नानक देव जी (Guru Nanak Dev Ji) का जन्म कार्तिक पुर्णिमा को हुआ था. नानक देव जी ने समाज को जागरूक करने के लिए काफी यात्राएं की. उन्होंने हरिद्वार, अयोध्या, प्रयाग, काशी, गया, पटना, असम, बीकानेर, पुष्कर तीर्थ, दिल्ली, पानीपत, कुरुक्षेत्र, जगन्नाथपुरी, रामेश्वर, सोमनाथ, द्वारका, नर्मदातट, मुल्तान, लाहौर आदि स्थानों का भ्रमण किया.
- Career | मंगलवार नवम्बर 12, 2019 01:27 PM ISTGuru Nanak Jayanti 2019: गुरु नानक जयंती 12 नवंबर (November 12) को है. नानक देव जी (Guru Nanak Dev Ji) की जयंती (Guru Nanak Jayanti) कार्तिक पूर्णिमा (Kartik Purnima) के दिन मनाई जाती है. गुरुनानक देव जी सिखों के प्रथम गुरु थे. गुरु नानक देव जी ने ही श्री करतारपुर साहिब गुरुद्वारे (Kartarpur Sahib Gurudwara) की नींव रखी थी. गुरु नानक के अनुयायी उन्हें नानक, नानक देव जी, बाबा नानक और नानकशाह नामों से संबोधित करते हैं. गुरु नानक जी के जन्म दिवस (Guru Nanak Dev Birthday) के दिन गुरु पर्व या प्रकाश पर्व (Guru Parv or Prakash Parv) मनाया जाता है. गुरु नानक देव जी का जन्म राय भोई की तलवंडी (राय भोई दी तलवंडी) नाम की जगह पर हुआ था, जो अब पाकिस्तान के पंजाब प्रांत स्थित ननकाना साहिब (Nankana Sahib) में है. आइये जानते हैं गुरु नानक के जीवन से जुड़ी 10 बातें...
- Faith | सोमवार नवम्बर 11, 2019 11:44 AM ISTDev Deepawali 2019" कार्तिक पूर्णिमा (Kartik Purnima) के दिन ही महादेव ने त्रिपुरा (Tripura) नामक राक्षस का वध अर उसके अत्याचार से देवताओं को मुक्ति दिलाई थी. इसी खुशी में देवताओं ने दीपावली मनाई थी. तभी से देव दीपावली (Dev Deepawali) मनाने की शुरुआत हुई.
- Faith | सोमवार नवम्बर 11, 2019 11:41 AM ISTकार्तिक पूर्णिमा (Kartik Purnima) से चार दिन पहले देवउठनी (Dev Uthani Ekadashi) या प्रबोधिनी एकादशी (Prabodhini Ekadashi) के दिन से सभी मांगलिक कार्यों की शुरुआत हो जाती है.