'Loan moratorium case'

- 10 न्यूज़ रिजल्ट्स
  • India | Reported by: आशीष भार्गव |मंगलवार मार्च 23, 2021 01:41 PM IST
    Loan Moratorium : सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राजकोषीय नीतियों का मामला केंद्र सरकार और आरबीआई के अधिकार क्षेत्र में है. अदालत इस मुद्दे पर न्यायिक समीक्षा नहीं कर सकती.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव |गुरुवार नवम्बर 5, 2020 12:37 PM IST
    Lone Moratorium: केंद्र सरकार ने मार्च 2020 से लेकर अगस्त 2020 तक लोन लेने वाले ग्राहकों को लोन मोरेटोरियम की सुविधा दी थी. अदालत ने कहा था कि लोगों की दिवाली इस बार सरकार के हाथों में है.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: नवीन कुमार |बुधवार अक्टूबर 14, 2020 07:04 PM IST
    एसजी तुषार मेहता ने कहा कि अदालत कोई संदेश नहीं भेज रही है. सरकार पहले ही आम आदमी को संदेश भेज चुकी है.  मैं चिदंबरम के विचारों के खिलाफ हूं कि अदालत संदेश भेजना चाहती है. जस्टिस एम आर शाह ने कहा कि आम लोगों की दीवाली सरकार के हाथ में है.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: प्रमोद कुमार प्रवीण |शनिवार अक्टूबर 10, 2020 12:30 PM IST
    Loan Moratorium" and "Supreme Court: RBI ने अपने नए हलफनामे में कहा है कि छह महीने से अधिक की लंबी मोहलत उधारकर्ताओं के क्रेडिट व्यवहार को प्रभावित कर सकता है और निर्धारित भुगतानों को फिर से शुरू करने में देरी के जोखिम को बढ़ा सकता है.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव |सोमवार अक्टूबर 5, 2020 01:09 PM IST
    रिजर्व बैंक (RBI) ने कहा कि छोटे कर्जदारों को संभालने के लिए उच्चतम स्तर पर निर्णय लिया गया. सरकार ने कर्जदारों के विभिन्न सेटों को राहत देने के पहलुओं पर विचार-विमर्श किया. 8 क्षेत्रों की पहचान की गई है, जो ब्याज लेवी के कारण मुश्किल में थे. 
  • India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: प्रमोद कुमार प्रवीण |शनिवार अक्टूबर 3, 2020 09:02 AM IST
    केंद्र सरकार ने लोन लेने वालों को बड़ी राहत दी है. सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल कर कहा है कि  एमएसएमई ऋण, शैक्षिक, आवास, उपभोक्ता, ऑटो, क्रेडिट कार्ड बकाया, पेशेवर और उपभोग ऋण पर लागू चक्रवृद्धि ब्याज को माफ किया जाएगा. सरकारी हलफनामे के मुताबिक 6 महीने के लोन मोरेटोरियम समय में दो करोड़ रुपये तक के लोन के ब्याज पर ब्याज की छूट देगी. केंद्र ने कहा है कि कोरोना वायरस महामारी की स्थिति में, ब्याज की छूट का भार वहन सरकार करे यही केवल समाधान है. इसके साथ ही केंद्र सरकार ने कहा है कि उपयुक्त अनुदान के लिए संसद से अनुमति मांगी जाएगी. 
  • India | Reported by: ए. वैद्यनाथन, Edited by: नवीन कुमार |सोमवार सितम्बर 28, 2020 10:38 PM IST
    लोन मोरेटोरियम अवधि मामले (Loan Moratorium Period Case) में सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को एक बार फिर सुनवाई टल गई. केंद्र सरकार ने और समय मांगा, जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई 5 अक्टूबर तक टाल दी. केंद्र ने सोमवार को कोर्ट से कहा कि उसका निर्णय एक एडवांस स्थिति में है. उसे अदालत के समक्ष ब्योरा रखने के लिए कुछ और समय चाहिए. अब खबर यह आ रही है कि इस मामले में केंद्र सरकार एक अक्टूबर तक अदालत में हलफनामा दाख‍िल कर सकती है. सरकार के हलफनामे में कंपाउंड इंटरेस्ट यानी ब्याज पर लगने वाले ब्याज को खत्म करने और अलग-अलग क्षेत्रों के हिसाब से मोरेटोरियम की अवध‍ि बढ़ाए जाने को लेकर केंद्र अपनी बात रख सकता है. सरकार महर्ष‍ि कमेटी की सिफारिशों पर भी फैसला ले सकती है. केंद्र ने कहा था कि रिजर्व बैंक के मौजूदा नियम मोरेटोरियम की अवध‍ि को दो साल तक बढ़ाए जाने की इजाजत देते हैं.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: तूलिका कुशवाहा |सोमवार सितम्बर 28, 2020 11:44 AM IST
    लोन मोरेटोरियम अवधि मामले में सुप्रीम कोर्ट में फिर सुनवाई टल गई है. केंद्र सरकार ने और समय मांगा है, जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई 5 अक्टूबर तक टाल दी है. केंद्र ने सोमवार को कोर्ट से कहा कि उसका निर्णय एक एडवांस स्थिति में है. उसे अदालत के समक्ष ब्योरा रखने के लिए कुछ और समय चाहिए.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: आरिफ खान मंसूरी |गुरुवार सितम्बर 10, 2020 11:48 AM IST
    SC on Loan Moratorium: लोन मोरेटोरियम मामले (Loan Moratorium Case) की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने कहा कि मामले को बार-बार टाला जा रहा है. अब इस मामले को सिर्फ एक बार टाला जा रहा है वो भी फाइनल सुनवाई के लिए. इस दौरान सब अपना जवाब दाखिल करें और मामले में ठोस योजना के साथ अदालत आएं. साथ ही कोर्ट ने कहा कि तब तक 31 अगस्त तक NPA ना हुए लोन डिफॉल्टरों को NPA घोषित ना करने अंतरिम आदेश जारी रहेगा. सुप्रीम कोर्ट ने जवाब दाखिल करने के लिए दो हफ्ते दिए.
  • India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: तूलिका कुशवाहा |बुधवार सितम्बर 2, 2020 03:47 PM IST
    लोन मोरेटोरियम अवधि के मामले में बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया है कि इस फैसले से लोन लेने वालों पर दोहरी मार पड़ रही है क्योंकि उनसे चक्रवृद्धि ब्याज यानी कंपाउंडिंग इंट्रस्ट लिया जा रहा है.
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