Blogs | रवीश कुमार |मंगलवार अक्टूबर 16, 2018 09:54 AM IST सवाल अकबर के इस्तीफ़े का नहीं है. इस्तीफ़ा लेकर कोई महान नहीं बन जाएगा. वो तो होगा ही. मगर जवाब देना पडेगा कि इस अकबर में क्या ख़ूबी थी कि राज्यसभा का सदस्य बनाया, बीजेपी का सदस्य बनाया और मंत्री बनाया. इसके दो-दो दलों के अंदरखाने तक पहुंच होती है. सत्ता तंत्र का बादशाह बन जाता है. आराम से कांग्रेस का सांसद, आराम से भाजपा का सांसद.