India | Reported by: भाषा, Written by: मानस मिश्रा |बुधवार मार्च 18, 2020 07:32 PM IST सुप्रीम कोर्ट ने मध्य प्रदेश कांग्रेस के बागी विधायकों से न्यायाधीशों के चैंबर में मुलाकात करने की पेशकश बुधवार को ठुकराते हुये टिप्पणी की कि विधानसभा जाना या नहीं जाना उनपर (विधायकों) निर्भर है, लेकिन उन्हें बंधक बनाकर नहीं रखा जा सकता. न्यायमूर्ति धनन्जय वाई चन्द्रचूड़ और न्यायमूर्ति हेमंत गुप्ता की पीठ ने कांग्रेस के 22 बागी विधायकों के इस्तीफे की वजह से मध्य प्रदेश में उत्पन्न राजनीतिक संकट को लेकर दायर याचिकाओं पर सुनवाई के दौरान यह टिप्पणी की और कहा कि वह विधानसभा द्वारा यह निर्णय करने के बीच में नहीं पड़ेगी कि किसके पास सदन का विश्वास है लेकिन उसे यह सुनिश्चित करना है कि ये 16 विधायक स्वतंत्र रूप से अपने अधिकार का इस्तेमाल करें. पीठ ने इन विधायकों का चैंबर में मुलाकात करने की पेशकश यह कहते हुये ठुकरा दी कि ऐसा करना उचित नहीं होगा. यही नहीं, पीठ ने रजिस्ट्रार जनरल को भी इन बागी विधायकों से मुलाकात के लिये भेजने से इनकार कर दिया. पीठ ने इसके साथ ही पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और भाजपा के नौ विधायकों के साथ ही मध्य प्रदेश कांग्रेस विधायक दल की याचिकाओं पर सुनवाई गुरुवार को सवेरे साढ़े दस बजे तक के लिये स्थगित कर दी.