Career | Edited by: शिखा शर्मा |बुधवार मार्च 29, 2017 09:39 AM IST स्कूलों में निर्धारित पाठ्य पुस्तकों की विषय वस्तु की जांच की जरूरत पर चर्चा के बीच मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने निजी प्रकाशकों की पाठ्य पुस्तकों की गुणवत्ता का मूल्यांकन करने में अपनी अक्षमता जाहिर की है. मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने लोकसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में बताया कि निजी प्रकाशकों की पाठ्य पुस्तकों की गुणवत्ता का मूल्यांकन करने के लिए कोई तंत्र नहीं है. केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) के पास खुद से संबद्ध स्कूलों में निजी प्रकाशकों की पाठ्य पुस्तकों को निर्धारित करने या सिफारिश करने का कोई अधिकार नहीं है.