India | सोमवार नवम्बर 2, 2015 10:14 AM IST पात्रा गांव के 28 मंदिरों में से एक मंदिर कम से कम तीन सौ साल पुराना है और आज भी खड़ा है। इसकी एक वजह है मोहम्मद यासीन पठान, जिन्होंने 1971 से तीस साल तक इसका रख-रखाव किया। सांप्रदायिक सद्भाव बढ़ाने के लिए 1993 में उन्हें कबीर पुरस्कार से सम्मानित किया गया।