Blogs | Sudhir Jain |शुक्रवार मार्च 11, 2016 04:27 PM IST अब तक डाकिये और जज जैसी भूमिका में दिखती आई पत्रकारिता खुल्लमखुल्ला खुद ही वकील और राजनीतिक दलों के सहायकों के वर्गों में बंटती नजर आ रही है। ऐसे में उस पर पक्षधर होने का आरोप लगना स्वाभाविक है। बहुत संभव है कि उसकी विश्वसनीयता घटने का संकट इसी कारण उपजा हो।