सुप्रीम कोर्ट में किसान आंदोलन को मौजूदा जगह से हटाने को लेकर याचिकाकर्ता के वकील हरीश साल्वे और सरकार के वकील अटार्नी जनरल तुषार मेहता ने जो दलीलें रखीं हैं उनमें आंदोलनों के भविष्य की झलक देखी जा सकती है. ये वही दलीलें हैं जो शाहीन बाग़ के समय से पब्लिक स्पेस में औपचारिक रूप लेती जा रही हैं. सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस एस ए बोबडे की बेंच में सुनवाई के दौरान कही गईं बातों पर आने से पहले अदालत से बड़ी ख़बर यही आई कि मामले की सुनवाई वेकेशन कोर्ट को सौंपी जा रही है. देखें रवीश कुमार के साथ 'प्राइम टाइम'...
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