दिल्ली-NCR में पटाखों की बिक्री पर बैन को लेकर पटाखा विक्रेता पहुंचे सुप्रीम कोर्ट

याचिका में कहा गया है कि जिनको लाइसेंस दिए गए उन्होंने काफी पटाखे खरीदे हैं. बैन की वजह से उन्हें भारी नुकसान होगा इसलिए ये रोक हटाई जाए.

दिल्ली-NCR में पटाखों की बिक्री पर बैन को लेकर पटाखा विक्रेता पहुंचे सुप्रीम कोर्ट

खास बातें

  • सुप्रीम कोर्ट ने लगाया था पटाखों की बिक्री पर बैन
  • आर्थिक नुकसान के आधार पर कोर्ट पहुंचे विक्रेता
  • लाखों के नुकसान का हवाला देकर आदेश में संशोधन की मांग की
नई दिल्ली:

दिल्ली NCR में पटाखों की बिक्री पर रोक का मामले में पटाखा विक्रेता सुप्रीम कोर्ट पहुंचे हैं. याचिका दायर कर रोक के आदेश में संशोधन की मांग की गई है.याचिका में कहा गया है कि जिनको लाइसेंस दिए गए उन्होंने काफी पटाखे खरीदे हैं. बैन की वजह से उन्हें भारी नुकसान होगा इसलिए ये रोक हटाई जाए. इस मामले में शुक्रवार को सुनवाई हो सकती है.

गाजियाबाद में 40 से अधिक पटाखे की दुकानें सील

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद दिल्ली के पटाखों की दुकानों पर ताला लग गया है. व्यापारी करोड़ों के नुकसान से गुस्से में हैं. ये दिवाली की आतिशबाज़ी नहीं है, दिवाली से पहले दिवाले के अंदेशे और गुस्से की है. सुप्रीम कोर्ट के फैसले से कारोबारियों को खासा नुकसान हुआ है.

दिल्ली में पटाखे की बिक्री पर बैन के बाद दुकानदारों ने दीं कुछ ऐसी प्रतिक्रियाएं

सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया था कि दिल्ली और NCR में दिवाली पर पटाखे नहीं बिकेंगे. 11 नवंबर 2016 का बिक्री पर रोक का आदेश फिर से बरकरार रहेगा. कोर्ट ने सारे लाइसेंस स्थायी और अस्थायी तत्काल प्रभाव निलंबित किए. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि ये बैन 1 नवंबर 2017 तक बरकरार रहेगा. कोर्ट ने 12 सितंबर के रोक के आदेश में संशोधन किया है. 1 नवंबर से पटाखे बिक सकेंगे. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि एक बार ये टेस्ट करना चाहते हैं कि दिवाली पर क्या हालात होंगे? 

इतने खतरनाक तरीके से बनाए जाते हैं पटाखे, रोशनी डालने के लिए करते हैं ऐसा

दरअसल, इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली और एनसीआर में पटाखों की बिक्री पर लगी रोक कुछ शर्तों के साथ हटाई थी. सुप्रीम कोर्ट ने कहा थी कि दिल्ली में पटाखों की बिक्री के लिए पुलिस की निगरानी में लाइसेंस दिए जाएं. ज्यादा से ज्यादा 500 अस्थाई लाइसेंस ही दिए जा सकेंगे. SC ने कहा है कि 2016 में दिए गए लाइसेंस में से 50 फीसदी को ही इस बार लाइसेंस दिया जाएगा.
यही नियम एनसीआर में भी लागू किया जाएगा यानी 2016 में दिए गए लाइसेंस के आधे ही इस बार दिए जाएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया है कि साइलेंस जोन के 100 मीटर के भीतर पटाखे नहीं जलाए जाएंगे, यानी अस्पताल, कोर्ट, धार्मिक स्थल और स्कूल आदि के 100 मीटर के दायरे में पटाखे न चलें. इसके अलावा पटाखे बनाने में लिथियम, लेड, पारा, एंटीमोनी व आर्सेनिक का इस्तेमाल न करने का निर्देश है.


Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com