महाराष्ट्र सरकार ने 51 हेक्टेयर जमीन शरद पवार के चीनी संस्थान को आवंटित की

महाराष्ट्र विकास अघाडी सरकार ने राज्य के जालना जिले में शरद पवार नीत वसंतदादा चीनी संस्थान (वीएसआई) को 51 हेक्टेयर जमीन आवंटित की है.

महाराष्ट्र सरकार ने 51 हेक्टेयर जमीन शरद पवार के चीनी संस्थान को आवंटित की

महाराष्ट्र सरकार के फैसले पर बीजेपी ने सवाल उठाए हैं

नई दिल्ली:

महाराष्ट्र विकास अघाडी सरकार ने राज्य के जालना जिले में शरद पवार नीत वसंतदादा चीनी संस्थान (वीएसआई) को 51 हेक्टेयर जमीन आवंटित की है. वीएसआई गन्ने की खेती से जुड़े अनुसंधान के लिए एक प्रमुख संस्थान है.  इस कदम का उद्देश्य मराठवाड़ा और विदर्भ क्षेत्रों में किसानों के लिए गन्ने की खेती से जुड़े अनुसंधान को बढ़ावा देना है. वहीं बीजेपी ने जालना जिले में 51 हेक्टेयर जमीन एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार नीत गन्ना अनुसंधान संस्थान को 'बहुत सस्ती दरों' पर उपलब्ध कराने के महाराष्ट्र सरकार के निर्णय की आलोचना की. एक अधिकारी ने कहा कि जालना जिले के अंबाद तालुका के पथरवाला गांव में पुणे स्थित वीएसआई को जमीन 30 वर्ष के लीज पर दी गई है. वीएसआई की स्थापना सहकारी चीनी कारखानों के गन्ना किसानों द्वारा 1975 में की गई थी. यह संस्थान चीनी उद्योग से संबंधित वैज्ञानिक, तकनीकी और शैक्षिक कार्य करता है. एनसीपी अध्यक्ष एवं पूर्व केंद्रीय कृषि मंत्री शरद पवार संस्थान के अध्यक्ष हैं. 

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सम्पर्क किये जाने पर राज्य के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने कहा कि भूमि आवंटन के निर्णय का उद्देश्य मराठवाड़ा और विदर्भ क्षेत्रों में किसानों के लिए गन्ने की खेती से जुड़े अनुसंधान को बढ़ावा देना है. उन्होंने कहा, 'यह इन दोनों क्षेत्रों में किसानों के लिए वरदान होगा.' उन्होंने कहा, 'जालना जिले में वीएसआई केंद्र गन्ना उत्पादकों के लिए शैक्षिक, विस्तार और अनुसंधान में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा.' उन्होंने कहा कि वीएसआई केंद्र किसानों को गन्ने की खेती के लिए नयी किस्म उपलब्ध कराएगा और विभिन्न तरह के गन्ने तैयार करने में अनुसंधान करेगा. टोपे ने कहा कि भूमि का आवंटन इस शर्त के तहत किया गया है कि इसका इस्तेमाल वाणिज्यिक उद्देश्य के लिए नहीं किया जाएगा. प्रदेश भाजपा प्रवक्ता माधव भंडारी ने आरोप लगाया कि सरकारी जमीनें पवार या उनके नजदीकी लोगों के नेतृत्व वाले संस्थानों को तब ‘‘उपहार'' में दे दी जाती हैं जब भी उनकी पार्टी सत्ता में होती है. 

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हालांकि महाराष्ट्र के मंत्री एवं राकांपा नेता नवाब मलिक ने स्पष्ट किया कि जमीन पुणे स्थित वसंतदादा चीनी संस्थान (वीएसआई) को किसानों के हित में अनुसंधान कार्य के लिए किराये पर दी गई है, ‘‘बेची नहीं गई है.'' मलिक ने कहा कि राज्य कैबिनेट की बुधवार को आयोजित बैठक में उक्त जमीन के आवंटन से जुड़ी फाइल चर्चा के लिए आने से पहले पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने उक्त जमीन के आवंटन से जुड़ी फाइल मंजूर की थी. उन्होंने सवाल किया कि क्या फडणवीस ऐसा करने में ‘‘गलत'' थे. उन्होंने कहा कि यहां तक कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी पूर्व में संस्थान गए थे और उसके कार्य की प्रशंसा की थी.

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(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)