खास बातें
- जनार्दन द्विवेदी ने कहा 'ऐतिहासिक भूल सुधार'
- गुलाम नबी आजाद ने दी नसीहत
- बोले- इतिहास पढ़ लें फिर कांग्रेस में रहें
नई दिल्ली: कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा कि जिन लोगों को जम्मू-कश्मीर का इतिहास और कांग्रेस का इतिहास पता नहीं है उनसे मुझे कोई लेना देना नहीं है. वे पहले जम्मू-कश्मीर और कांग्रेस का इतिहास पढ़ लें फिर कांग्रेस में रहें. गुलाम नबी आजाद का यह बयान उस समय आया है जब कांग्रेस के ही कई नेताओं ने सरकार द्वारा पेश किए गए बिल के पक्ष में बयान दिया है. राज्य सभा में बिल पास होने से पहले कांग्रेस एक राज्य सभा सांसद ने इस्तीफा दे दिया था. अपने इस्तीफे में सांसद ने बिल के समर्थन में अपनी बात कही थी. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जनार्दन द्विवेदी ने भी मोदी सरकार द्वारा पेश किए गए बिल के समर्थन में बयान दिया.
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वरिष्ठ कांग्रेस नेता जनार्दन द्विवेदी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने और राज्य को दो केंद्र शासित क्षेत्रों में बांटने के केंद्र सरकार के कदम का समर्थन करते हुए अपनी पार्टी के रुख के से अलग राय रखा. उन्होंने कहा कि सरकार ने एक ‘‘ऐतिहासिक गलती'' सुधारी है. जनार्दन द्विवेदी ने कहा कि यह राष्ट्रीय संतोष की बात है कि स्वतंत्रता के समय की गई गलती को सुधारा गया है. उन्होंने कहा कि यह बहुत पुराना मुद्दा है. स्वतंत्रता के बाद कई स्वतंत्रता संग्राम सेनानी नहीं चाहते थे कि अनुच्छेद 370 रहे. जनार्दन द्विवेदी ने कहा कि मेरे राजनीतिक गुरु राम मनोहर लोहिया शुरू से ही अनुच्छेद 370 का विरोध करते थे. मेरे व्यक्तिगत विचार से तो यह एक राष्ट्रीय संतोष की बात है.
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गौरतलब है कि सरकार ने जम्मू कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा प्रदान करने संबंधी अनुच्छेद 370 समाप्त करने और राज्य को दो केंद्रशासित प्रदेशों, जम्मू-कश्मीर तथा लद्दाख में विभाजित करने का फैसला किया है. इससे संबंधित दो संकल्पों एवं एक विधेयक को सोमवार को राज्यसभा की मंजूरी मिल गई.
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