Manoj Tiwari: भोजपुरी सुपर स्टार के सांसद बनने तक का सफर, पढ़ें यहां

बिहार (Bihar) के एक छोटे से गांव में जन्में मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) का अब तक सफर किसी फिल्म की कहानी से कम नहीं है. पड़ाव दर पड़ाव मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) अपना रास्ता खुद बनाते चले गए

Manoj Tiwari: भोजपुरी सुपर स्टार के सांसद बनने तक का सफर, पढ़ें यहां

भोजपुरी फिल्मों में नाम कमाने के बाद 2009 में राजनीति में उतरे मनोज तिवारी (Manoj Tiwari)

नई दिल्ली:

भोजपुरी फिल्मों के सुपरस्टार मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) दिल्ली की उत्तर पूर्व सीट से चुनाव लड़ रहे हैं. 2014 के आम चुनावों में भी उन्होंने इसी सीट से चुनाव लड़ा था और जीत दर्ज की थी. मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) भोजपुरी फिल्म जगत (Bhojpuri Film Industry) का एक जाना-माना नाम हैं. 2009 से वह सक्रिय राजनीति में अपनी भागीदारी निभा रहे हैं लेकिन आज भी उनकी पहचान के आगे भोजपुरी सुपरस्टार (Bhojpuri Superstar) का तमगा लगा हुआ है. बिहार (Bihar) के एक छोटे से गांव में जन्मे मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) का अब तक का सफर किसी फिल्म की कहानी से कम नहीं है. पड़ाव-दर-पड़ाव मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) अपना रास्ता खुद बनाते चले गए. उन्होंने न सिर्फ अपना रास्ता बनाया बल्कि उनके पदचिह्नों पर दूसरे भोजपुरी कलाकारों को चलते हुए देखा जा रहा है. जानें उनके इस सफर के बारे में. 

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मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) का जन्म 1 फरवरी 1971 में बिहार के एक छोटे से गांव अतरवालिया में हुआ था. पढ़ाई के दौरान मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) एक अच्छे क्रिकेटर भी रहे हैं. कई लेवल पर क्रिकेट खेलने के बाद मनोज तिवारी  (Manoj Tiwari) शौक में भोजपुरी में गाना गाने लगे. इन गानों ने तिवारी को इतनी प्रसिद्धी दी कि भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री (Bhojpuri Film Industry) का दरवाजा उनके लिए खुल गया. भोजपुरी फिल्मों में मनोज तिवारी ने बतौर सिंगर एंट्री मारी, वहां उन्होंने एक्टिंग की, म्यूजिक डायरेक्शन में भी हाथ आजमाया और देखते ही देखते भोजपुरी फिल्मों के सुपरस्टार बन गए. उनकी पहली फिल्म 'ससुरा बड़ा पैसावाला' ने भोजपुरी फिल्मों को एक नई पहचान दिलाई. इसके बाद मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) की पॉपुलैरिटी दिन दूनी और रात चौगुनी गति से बढ़ने लगी. मनोज तिवारी ने 'ससुरा बड़ा पैसावाला' के बाद, 'बंधन टूटे न;, 'दरोगा बाबू आई लव यू', 'दामाद जी', 'भोजपुरिया डॉन', 'धरती कहे पुकार के; समेत कई ब्लॉकबस्टर भोजपुरी फिल्में की. इसके बाद मनोज तिवारी छोटे पर्दे पर पहुंचे, यहां उन्होंने बिग बॉस में हिस्सा लिया. बिग बॉस (Bigg Boss) में झंडे गाड़ने के बाद मनोज तिवारी ने रियलिटी शो चक दे बच्चे के लिए एंकरिंग भी की. इस बीच मनोज तिवारी की राजनीति में एंट्री हो चुकी थी लेकिन उन्हें वह मुकाम नहीं मिल पा रहा था जिसकी वो तलाश कर रहे थे. 

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मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) ने साल 2009 में समाजवादी पार्टी की सदस्यता ली और गोरखपुर सीट से योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) के खिलाफ ताल ठोकी लेकिन जीत से दूर रहे. हार के बाद मनोज तिवारी ने बीजेपी का दामन थाम लिया. बीजेपी ने मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) को दिल्ली की उत्तर पूर्वी लोकसभा सीट की जिम्मेदारी दी. यह सीट अपने आप में बहुत खास है. दिल्ली की इस सीट को प्रवासी भारतीयों का गढ़ कहा जाता है. जिनमें ज्यादातर संख्या में लोग बिहार और पूर्वांचल से ताल्लुकात रखते हैं. 2014 के लोकसभा चुनावों में मनोज तिवारी ने इस सीट पर जीत दर्ज की. बता दें कि दिल्ली में करीब 40 फीसदी वोटर पूर्वांचल के हैं और 70 विधानसभा सीटों में से कई सीटों पर पूरब वासियों का दबदबा है. इसी वजह से उन्हें 2016 में दिल्ली का प्रदेश अध्यक्ष बना दिया गया. मनोज तिवारी (Manoj Tiwari) ने अपनी अध्यक्षता में बीजेपी को तीनों निगमों के चुनावों में जीत दिलवाई. आज मनोज तिवारी की गिनती बीजेपी के सीनियर नेताओं में होती है. उन्हें पार्टी के स्टार प्रचारकों की लिस्ट में जगह दी गई है. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) के साथ अक्सर मनोज तिवारी को टकराते हुए देखा जाता है.